इंदौर : मध्ये प्रदेश की आर्थिक राजधानी में कोरोना का प्रसार तेजी से बढ़ता जा रहा है. वहीं, कोरोना के अधिक मरीज मिलने के वजह से मल्हारगंज क्षेत्र का महंत कॉम्प्लेक्स पूरे शहर में बदनाम हुआ, लेकिन वायरस को चकमा देने वालों के कारण यह कॉम्प्लेक्स मिसाल भी बना है. यहां 300 लोग रहते हैं. इनमें से 140 की जांच हुई और 87 पॉजिटिव मिले. 213 लोगों को कोरोना छू भी नहीं पाया. कई परिवार तो संक्रमितों के संपर्क में थे, लेकिन वे पॉजिटिव नहीं निकले. वहीं, कॉम्प्लेक्स में रहने वाले 56 और 60 वर्ष के दो लोगों की कोरोना के वजह से मौत जरूर हुई, लेकिन 85 लोग कोरोना को हराकर घर वापस लौट आए. 17 दिन से कॉम्प्लेक्स में कोई नया केस भी नहीं मिला है. इस बारें में डाक्टरों का कहना है कि कॉम्प्लेक्स के निवासियों की रोग प्रतिरोधक क्षमता बेहतर होने के वजह से ऐसा हुआ है. जानकारी के लिए बता दें की महंत कॉम्प्लेक्स में 85 फ्लैट हैं. यहां रहने वाले परिवारों ने लॉकडाउन में शारीरिक दूरी का पालन करने में सबसे ज्यादा लापरवाही बरती थी. सभी ने राम नवमी, महावीर जयंती, हनुमान जयंती साथ मना ली. कॉम्प्लेक्स में पार्टियां भी हुईं. सब्जियां थोक में आती थीं और कई परिवार आपस में बांट लिया करते थे. परिवारों की आपसी आत्मीयता का कोरोना वायरस ने फायदा उठाया और 15 मई को एक साथ 30 से ज्यादा लोग संक्रमित मिले. धीरे-धीरे वायरस की चपेट में 87 लोग आ गए. शहर में कोरोना की मृत्यु दर 4.1 प्रतिशत है, लेकिन महंत कॉम्प्लेक्स में मृत्यु दर 2.29 प्रतिशत रही. इंदौर में फिर बढ़ा कोरोना का प्रकोप, मिले 51 नए पॉजिटिव कोरोना से लड़ते हुए अंबेडकरनगर के मुख्य चिकित्सा अधीक्षक ने तोड़ा दम, PGI में चल रहा था इलाज 69000 शिक्षक भर्ती मामला: 11 गिरफ्तार, STF को मिली जांच की जिम्मेदारी