भारत-रूस के बीच 16 समझौते, देश को मिलेगा एंटी मिसाइल डिफेंस सिस्टम

नई दिल्ली : भारत के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने ब्रिक्स में रूस और भारत के बीच हुई चर्चा के बाद कहा कि भारत के मेक इन इंडिया प्रोजेक्ट में रूस भागीदार होगा। यह भारत के लिए एक महत्वपूर्ण बात है। उन्होंने रूसी भाषा में अपने भाषण की शुरूआत करते हुए कहा कि भारत के पुराने मित्र रूस का गोवा में स्वागत है। उन्होंने कहा कि भारत जीरो टाॅलरेंस की नीति आतंकवाद के खिलाफ अपनाना चाहता है। वह रूस की इस नीति की सराहना करता है। भारत और रूस के बीच चर्चा के दौरान करीब 200 कामोव हेलिकाॅप्टरर्स की डील को बल मिला है। इनमें से 40 रूस से आएंगे जबकि बाकी 160 मेक इन इंडिया प्रोग्राम के तहत भारत में ही बनाए जाएंगे।

भारत ने रूस के साथ विभिन्न मसलों पर 16 करार किए हैं। उन्होंने कहा कि भारत और रूस अपने एतिहास को आगे बढ़ाते हुए विश्व मंच पर भागीदारी करेंगे। उन्होंने आतंकवद को लेकर रूस द्वारा भारत की सहायता किए जाने का उल्लेख किया और कहा कि भारत और रूस साथ होंगे तो विश्व पटल पर दोनों का भविष्य उज्जवल होगा। भारत और रूस के बीच हुए समझौतों को अहम माना जा रहा है। भारत और रूस ने उर्जा, रक्षा, आतंकवाद के मसले पर चर्चा की है।

रूस से भारत को मिसाईल रोधी रक्षा कवच मिलने की रज़ामंदी भी मिली है। भारत ये पांच एस- 400 एंटी मिसाईल डिफेंस सिस्टम रूस से प्राप्त करेगा। यह सिस्टम 400 किलोमीटर दूर से ही दुश्मन द्वारा दागे गए अस्त्र को डिटेक्ट करेगा और इसे रोकने में मदद करेगा। यह चीन और पाकिस्तान की मिसाईलों को एक साथ टारगेट कर सकेगा।

जबकि रूस से मिलने वाले कामोव एके ए 226 हेलिकाॅप्टर भारत की वायु शक्ति को बढ़ाऐंगे। दोनों देशों के बीच एडमिरल ग्रिगोरोविच क्लास के स्टील्थ फ्रिगेट को लेकर भी करार हुआ। इंडियन नेवी को ये फ्रिगेट काफी ताकतवर बना देंगे और वो करीब-करीब चीन की बराबरी पर आ जाएगा। भारत में ही इन हेलिकाॅप्टर्स का निर्माण होने से भारत तकनीकी रूप से दक्ष भी होगा। गौरतलब है कि भारत में ब्रिक्स का आयोजन दूसरी बार हो रहा है। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ब्रिक्स देशों के राष्ट्रध्यक्ष के पहुंचने के बाद सभी से मिलेंगे।

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