हैदराबाद: तेलंगाना उच्च न्यायालय ने बीते दिनों ही एक आदेश जारी किया था. वहीं उसी आदेश का अनुपालन करते हुए राज्य सरकार ने बीते बुधवार को बात की. इस दौरान उन्होंने कहा कि राज्य में ऊंटो को काटने समेत अन्य किसी भी मकसद से ऊंटो को लाना गैरकानूनी है और कानून तोड़ने वालों पर मामला दायर कर लिया जाएगा. इसके अलावा उन्होंने आने वाले बकरीद त्यौहार को ध्यान में रखा है. वहीं इस दौरान ऊंटों को मारने पर रोकथाम की मांग वाली एक जनहित याचिका पर अंतरिम आदेश जारी कर दिया है. अपने जारी किये गए आदेश में अदालत ने कहा कि यह सुनिश्चित करना राज्य सरकार की जिम्मेदारी है कि ‘परंपरा’ के नाम पर ऊंट नहीं काटे जाएं. इसके अलावा राज्य के पशु चिकित्सा और पशुपालन विभाग की ओर से एक प्रेस विज्ञप्ति भी जारी की गई. उसमे कहा गया कि तेलंगाना में दूसरे राज्यों से ऊंट लाने पर सख्त पाबंदी है और राज्य में कोई व्यक्ति ऊंटों को नहीं मारेगा. इसके अलावा इस तरह के किसी भी उल्लंघन पर मुकदमा दायर कर कानून के अनुसार दंडित करने के बारे में भी कहा गया है. जी दरअसल तेलंगाना सरकार ने राजस्थान ऊंट (वध निषेध और अस्थायी विस्थापन या निर्यात नियमन) अधिनियम, 2015 का भी उल्लेख किया जिसमें इस पश्चिमी राज्य से ऊंटों को लाने पर पाबंदी लगाई गई है. वैसे बकरीद को लेकर कई राज्यों में अलग -अलग नियम जारी हो रहे हैं. बीते दिनों ही उत्तर प्रदेश सरकार ने बकरीद के दिन सामूहिक नमाज और खुले में कुर्बानी देने पर रोक लगा दी है. तमिलनाडु में सामने आए 5849 नए मामले, एक लाख 86 हजार तक पहुंचा आंकड़ा पक्षी और उसके बच्चों के लिए 35 दिन तक बिना लाइट के रहे इस गाँव के लोग 'भाभी जी घर पर है' के फैंस के लिए खुशखबरी, शूटिंग पर वापस लौटेगी सौम्या टंडन