नई दिल्ली : ‘संकट के दौर’ से गुजर रही दूरसंचार कंपनी एयरसेल ने दिवाला प्रक्रिया के लिए आवेदन किया है. कंपनी के अनुसार वह भारी वित्तीय दबाव में है .एक नई कम्पनी के आने से उसके व्यवसाय पर नकारात्मक असर पड़ा है. बता दें कि एयरसेल के बयान में एक नई कंपनी के ‘विध्वंसकारी’ आगमन से पैदा हुई कड़ी प्रतिस्पर्धा, कानूनी व नियामकीय चुनौतियों व बढ़ते घाटे के कारण कंपनी की ‘साख व कारोबार पर काफी नकारात्मक असर पड़ा है. निदेशक मंडल ने आज ऋणशोधन व दिवाला संहिता 2016 की धारा 10 के तहत एयरसेल सेल्यूलर, डिशनेट वायरलैस, एयरसेल लिमिटेड के लिए कारपोरेट ऋणशोधन समाधान प्रक्रिया शुरू करने का आवेदन मुंबई में राष्ट्रीय कंपनी कानून न्यायाधिकरण किया है. उल्लेखनीय है कि एयरसेल ने यह भी कहा कि वायरलैस कारोबार को अन्य कंपनी के साथ मिलाने की कोशिशों का भी कोई नतीजा नहीं निकला. कर्जदाताओं और शेयरधारकों के साथ विस्तृत बातचीत के बावजूद कर्ज और वित्तपोषण को लेकर कंपनी किसी आमसहमति पर नहीं पहुंच सकी.जनवरी 2018 में रणनीतिक ऋण पुनर्गठन योजना को अमल में लाने की बातचीत के बावजूद कोई समझौता नहीं हो सका.इसलिए यह निर्णय लेना पड़ा. यह भी देखें भारत ने जीडीपी विकास दर में चीन को पछाड़ा मेहुल चौकसी की 41 अचल संपत्तिया सील