लखनऊ: उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ इन दिनों जिला इलाहबाद का नाम बदलकर प्रयागराज रखने के लिए सुर्ख़ियों में बने हुए हैं, योगी सरकार का ये फैसला सोशल मीडिया के साथ-साथ विदेशी मीडिया में भी छाया हुआ है, वहीं कांग्रेस, बसपा, सपा जैसी विपक्षी पार्टियां भी योगी सरकार के इस फैसले का विरोध कर रही हैं. यह मामला दिनों दिन तूल पकड़ता जा रहा था, इसी बीच खबरें आ रही है, उत्तर प्रदेश में इस फैसले पर काम भी शुरू हो गया है. दिवाली के पहले सरकार ने दी बड़ी राहत, आज इतने घटे पेट्रोल-डीजल के दाम उल्लेखनीय है कि 16 अक्टूबर को योगी आदित्यनाथ के कैबिनेट ने इलाहबाद का नाम बदलकर प्रयागराज रखने का निर्णय लिया था, जिसे राज्यपाल रामनाइक ने भी मंजूरी दे दी थी. विरोध होने के बाद भी यूपी सरकार ने नाम बदलने को लेकर जमीनी स्तर पर काम शुरू कर दिया है, हाल ही में इलाहाबाद के जिला अधिकारी दफ्तर (DM ऑफिस) का नाम भी बदल दिया गया है, डीएम ऑफिस के बाहर लगी पट्टिका पर 'जिला अधिकारी प्रयागराज' लिख दिया गया है. अगर आप विस्तारा एयरलाइंस से सफर करने जा रहे हैं तो पहले पढ़ ले ये खबर दरअसल, अगले साल प्रयागराज में देश का सबसे बड़ा कुम्भ मेला लगने वाला है, जिसे लेकर शहर में जीर्णोद्धार का कार्य जोरों पर है. आपको बता दें कि हिन्दू धर्म के पुराणों और भारत के इतिहास के अनुसार इलाहबाद का नाम पहले प्रयागराज ही था, जिसे मुग़ल बादशाह अकबर ने बदलकर इलाहबाद कर दिया था. इसका उल्लेख अकबर पर लिखी किताबों जैसे कि अकबरनामा और आईने अकबरी से पता चलता है कि 1574 के आसपास प्रयागराज में किला बनाया था और इसी दौरान उसका नाम बदलकर इलाहबाद रखा दिया था. खबरें और भी:- ईशा और आनंद के संगीत पर ये इंटरनेशनल सिंगर अपने गानों से मचाएंगी धमाल अगर आप भारतीय स्टेट बैंक के ग्राहक हैं तो पढ़िए बैंक के इस ई मेल को 2011-12 में 15 मैचों में हुई थी फिक्सिंग, डॉक्यूमेंट्री में हुआ खुलासा