आसमा जहांगीर नहीं रही. जी हा पाकिस्तान की प्रसिद्ध वकील और मानविधाकार कार्यकर्ता आसमा जहांगीर को रविवार को दिल का दौरा पड़ा जिसके कारण उनकी मौत हो गई है. 1952 में लाहौर में जन्मी जहांगीर ने पंजाब यूनिवर्सिटी से कानून की डिग्री हासिल कि थी , साथ ही आसमा पाकिस्तान सुप्रीम कोर्ट बार एसोसिएशन की पहली महिला अध्यक्ष भी बनी थी. आसमा पाक सियासत में सेना के दखल के सख्त खिलाफ रही. एक बार उन्होंने पाकिस्तानी खुफिया एजेंसी आईएसआई और पाकिस्तानी सुरक्षा एजेंसियों के खिलाफ बहुत गंभीर आरोप लगाए थे और उनसे अपनी जान का खतरा भी बताया था. एक बार तो आसमा जहांगीर ने दावा किया था कि पाकिस्तान की सुरक्षा एजेंसी ने उनकी हत्या कराने की कोशिश की है. कुछ समय पहले उनका एक वीडियो सोशल मीडिया में काफी वायरल हुआ था जहां उन्होंने पाकिस्तानी सेना के जनरलों को आतंकवाद फैलाने वाले ‘पॉलिटिकल डफर’कहा था. इस वीडियो में उन्होंने पाकिस्तानी फौज पर आरोप लगाते हुए कहा था, ‘आज इस फौज ने हमें इस जगह पर खड़ा कर दिया है, जहां उन्होंने हर मोहल्ले और गली में आतंक फैला दिया है. ये लोग आतंकवाद का समर्थन करते हैं और उसे बढ़ावा देते हैं. आसमा जहांगीर ने कहा था 'उनके पास एक पूरी प्रोपेगेंडा मशीनरी है, मैं आम सैनिकों पर आरोप नहीं लगा रही हूं, लेकिन में उन जनरलों के बारे में बात कर रही हूं जो गोल्फ खेलते हैं और जमीन पर कब्जा करते हैं. इस सेना ने हमें अपना गुलाम बना लिया है.’ आसमा जहांगीर का इंतकाल पाक में महिलाओं की आवाज और मानविधाकार के लिए जारी जंग के एक सिपाही के रुख्सत हो जाने के रूप में देखा जा रहा है. कश्मीर की विधानसभा में पाकिस्तान ज़िंदाबाद के नारे सेना के हाथ लगा आतंकियों के खिलाफ बड़ा सबूत आतंक के साये में ये टीम खेलेगी पाक में क्रिकेट