असम बाढ़: जिस बाँध के टूटने से 2 लाख लोग हुए बेघर, वो टूटा नहीं, बल्कि तोड़ा गया था...

गुवाहाटी: असम बाढ़ की भीषण विभीषिका का सामना कर रहा है। असम का कछार जिला भी बाढ़ की वजह से उफान पर आई नदी की लहरों के थपेड़े झेल रहा है। कछार जिले में बराक नदी का तटबंध टूट जाने के चलते सिलचर शहर बाढ़ के पानी में डूब गया। सिलचर शहर के बाढ़ के पानी में डूब जाने के बाद पुलिस ने इसे लेकर हैरान करने वाला खुलासा किया है।

असम पुलिस ने सनसनीखेज खुलासा करते हुए बताया है कि कछार जिले में बराक नदी पर बनाया गया बांध टूटा नहीं था, बल्कि इसे तोड़ा गया था। सिलचर शहर की बाढ़ प्राकृतिक आपदा नहीं है। साजिश के चलते ऐसा हुआ है। पुलिस ने इस मामले में चार आरोपियों को अरेस्ट कर लिया है। पुलिस का दावा है कि छह लोगों ने बाँध को तोड़ने  की साजिश रची थी।

पुलिस ने इस मामले में बेतुकांदी इलाके के निवासी काबुल खान नाम के व्यक्ति को अरेस्ट किया था। काबुल खान से पूछताछ में साजिश का खुलासा हुआ और इसके आधार पर पुलिस ने उसी इलाके के रहने वाले तीन अन्य आरोपियों को गिरफ्तार किया गया। पुलिस के अनुसार, काबुल खान से पूछताछ के बाद गिरफ्तार किए गए आरोपियों के नाम मिठु हुसैन लश्कर, नाजिर हुसैन लश्कर और रिपन खान है। 

SP रमनदीप कौर ने बताया है कि बेतुकांदी बांध साजिश के तहत काटा गया। इस कारण बराक नदी का पानी बहुत तेजी से सिलचर में घुसा और देखते ही देखते पूरा इलाका जलमग्न हो गया। बाढ़ के चलते सिलचर शहर की दो लाख से ज्यादा आबादी बेघर हो गई है। हालांकि, पुलिस अब ये पता लगाने की कोशिश कर रही है, कि इन अपराधियों ने बाँध तोड़ा क्यों ? इसके पीछे इनका मकसद क्या था ?

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