उष्णकटिबंधीय जलवायु में केले का वृक्ष उगता है। इसकी खेती भारत समेत कैरेबियन देशों में ज्यादा की जाती है। इसके सेवन से बॉडी को त्वरित ऊर्जा मिलती है। जबकि केला खाने से वजन भी बढ़ता है। दुबले-पतले व्यक्तियों के लिए केला किसी दवा से कम नहीं है। इसके साथ-साथ केले का फूल भी स्वास्थ्य के लिए फायदेमंद होता है। ऐसा माना जाता है कि सबसे प्रथम मलेशिया में केला पाया गया था। जबकि खपत के केस में सबसे आगे युगांडा है। हालांकि, भारत में यह फल प्राचीन समय से फलता-फूलता रहा है। सनातन धार्मिक ग्रंथों में इसका सचित वर्णन है। जबकि प्रभु श्री विष्णु को केला सबसे ज्यादा प्रिय है। इसके लिए बृहस्पतिवार के दिन केले के पौधे की पूजा की जाती है। इस पौधे में विष्णु जी वास करते हैं। आज भी देश में व्यक्ति केले के पत्ते पर आहार ग्रहण करते हैं। स्वास्थ्य की दृष्टिकोण से केला बहुत लाभदायक फल है। वही इसके सेवन से डायबिटीज रोग में राहत मिलती है। कई शोधों में खुलासा हुआ है कि डायबिटीज के रोगियों को केले के फूल का सेवन अवश्य करना चाहिए। यदि आपको इसके लाभ नहीं पता है, तो आइए जानते हैं कि कैसे यह डायबिटीज में सहायक सिद्ध होता है- एक रिसर्च लेख के मुताबिक, केले के फूल में ग्लाइसेमिक इंडेक्स काफी कम होता है। ग्लाइसेमिक इंडेक्स मापने की वह प्रक्रिया है, जिससे यह पता चलता है कि कार्बोहाइड्रेट से कितने वक़्त में ग्लूकोज बनता है। इसके सेवन से ग्लूकोज काफी कम बनता है। जबकि इसमें फाइबर तथा एंटीऑक्सीडेंट भी पाए जाते हैं, जो डॉयबिटीज को कंट्रोल करने में मददगार होते हैं।ऐसे में डायबिटीज के रोगी केले के फूल का सेवन कर सकते हैं। विशेष तौर पर केले के फूल के पकौड़े बहुत स्वादिष्ठ होते हैं। इसके साथ ही ये बेहद ही असरकारक नुस्खा है। आखिर क्या है प्रीमेंस्ट्रुअल सिंड्रोम ? जानिए इसके लक्षण सत्येंद्र जैन बोले- शुरू हो चुका है कोरोना का सामुदायिक प्रसार, स्वीकार करे केंद्र सरकार जिस डॉक्टर ने किया था 'कोरोना' का इलाज, उन्हें पत्र लिखकर अमित शाह ने कही ये बात