नईदिल्ली। अब तक तो आपको बैंक से नकदी निकाले जाने और एटीएम से कैश विड्राॅ करने के लिए, रूपयों की तय सीमा का सामना करना पड़ा है लेकिन, जल्द ही आपके बैंक में जमा रूपय पर भी ताला लगने वाला हैं जी हां, अब इस पर आपका अधिकार नहीं होगा। जी हां, अगर बैंक दिवालिया हो गए तो फिर, इस बात की संभावना है कि, ऐसे बैंक्स में जमा किए गए आपके धन को आप अपने अकाउंटर से नहीं निकाल सकेंगे। हालांकि आपको घबराने की जरूरत नहीं है, भारतीय बैंकिंग सिस्टम काफी मजबूत है और सार्वजनिक क्षेत्रों की बैंक्स वित्तीय प्रबंधन में कुशल मानी जाती हैं। हालांकि, एक बिल से आपके अकाउंट में जमा धन राशि को लेकर, नियमों में कुछ बदलाव हो सकता है। सरकार संसद के शीतकालीन सत्र में एक बिल लाने की तैयारी में है। जिसे फाइनेंशियल रेजोल्यूशन एंड डिपाजिट इंश्योरेंस एफआरडीआई बिल 2017 का नाम दिया गया है। यदि, यह विधेयक पारित हो गया तो, बैंकिंग के नियमों में काफी बदलाव हो सकता है। मिली जानकारी के अनुसार, बैंक्स में जमा रूपयों को लेकर यह नियम लागू हो सकता है कि, यदि बैंक की वित्तीय हालत खराब हो जाए तो फिर, वह आपके रूपयों को लौटाने से इन्कार कर सकता है। हालांकि ऐसे में आपको सिक्योरिटी या फिर बैंक के शेयर दिए जा सकेंगे। हालांकि बैंक, खाताधारक की जमा धनराशि नहीं लौटा सकने की स्थिति में बैंक को परेशानियों से निजात दिलवाने में यह नियम कारगर होगा। वित्तमंत्री अरूण जेटली ने कहा है कि, इस स्थिति को पूरी तरह से परिभाषित किया जाए। यदि यह नियम लागू हो जाता है तो इसका सबसे अधिक असर निजी क्षेत्र के बैंक्स के अंतरण पर होगा। जहां बैंक्स खाताधारक की धन राशि को दिवालिया स्थिति में रख सकेंगे तो दूसरी ओर, लोगों का निवेश निजी क्षेत्र की बैंक्स में कम हो सकता है। हालांकि मौजूदा समय में भी बड़े पैमाने पर लोग सार्वजनिक क्षेत्र की बैंक्स में ही निवेश करते हैं। जानिये कैसे आसान होगा बैंक खाते को आधार से जोड़ना पेटीएम पेमेंट्स बैंक का एटीएम शुरू बैंक से तीन लाख की चोरी पैसे-पैसे को मोहताज़ हुई हनीप्रीत