आगामी लोकसभा चुनाव में जनता के पास भाजपा विकास के एजेंडे को लेकर जाने वाली है और यह कहना है लोक जनशक्ति पार्टी (लोजपा) मुखिया रामविलास पासवान के बेटे और जमुई से सांसद चिराग पासवान का. जी हाँ, उन्होंने कहा कि, ''राम मंदिर केवल एक पार्टी का एजेंडा हो सकता है और यह एनडीए या केंद्र सरकार का एजेंडा नहीं है.'' आप सभी जानते ही होंगे कि चिराग लोजपा संसदीय दल के अध्यक्ष भी हैं और उन्होंने कहा, 'भाजपा को किसी को भी राम मंदिर निर्माण और बजरंगबली की जाति जैसे मुद्दों को उठाकर लोगों के बीच भ्रम पैदा करने की इजाजत नहीं देनी चाहिए.' इस मामले में चिराग ने कहा, 'हमने 10 दिसंबर को हुई एनडीए की बैठक में साफतौर पर कहा है कि हमें अपने विकास के एजेंडे पर डटे रहना चाहिए. कुछ लोग राम मंदिर निर्माण और बजरंगबली (उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने भगवान राम को दलित बताया था) को लेकर लोगों को भ्रमित कर रहे हैं. मंदिर एक पार्टी का एजेंडा हो सकता है लेकिन यह एनडीए या सरकार का नहीं हो सकता. हमें उसके लिए अदालत के आदेश का इंतजार करना चाहिए.' इसी के साथ जब उनसे पूछा गया कि ''क्या लोजपा एनडीए की सहयोगी जदयू की तरह राम मंदिर निर्माण को लेकर अध्यादेश का विरोध करेगी.'' इस पर उन्होंने जवाब में कहा, 'यह एक काल्पनिक परिस्थिति है. हमारा स्टैंड पूरी तरह से साफ है. हम अदालत द्वारा दिए जाने वाले फैसले का सम्मान करेंगे. जहां तक अध्यादेश की बात है मुझे नहीं लगता कि वह आने वाला है. भाजपा ने इसके बारे में सहयोगी पार्टियों से बात नहीं की है. मुझे नहीं लगता सरकार इसके लिए अध्यादेश लाने वाली है.' इस समय चिराग अपने पिता के खराब स्वास्थ्य के कारण पार्टी के मामलों को देख रहे हैं और उन्होंने आगे इस मामले में बात करते हुए कहा कि ''हमने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से अपील की है कि वह युवा और किसानों पर ध्यान केंद्रित करें. वह युवा ही थे जिन्होंने 2014 में नरेंद्र मोदी को पीएम बनाने में अहम भूमिका निभाई थी. किसानों के बीच कुछ नाराजगी रही है. हमारी सरकार ने हालांकि किसानों के लिए कुछ अच्छे काम किए हैं, हमें किसानों के मुद्दे पर पुनर्विचार करना चाहिए.'' राहुल गाँधी को पप्पू नहीं पापा होना चाहिए : रामदास अठावले महागठबंधन में शामिल होना एक विकल्प : उपेंद्र कुशवाहा पेरिस जलवायु परिवर्तन समझौते पर 200 देश सहमत