पोर्न वीडियों देखने वाले बीजेपी नेता फिर से कर्नाटक के रण में

कर्नाटक के रण में अब सब कुछ तय हो चूका है मगर आज तक बीजेपी ने उस सवाल का जवाब नहीं दिया है कि फरवरी 2012 में विधानसभा में अश्लील वीडियो देखने वाले उन नेताओं को किस आधार पर टिकिट दिया गया. लक्ष्मण  सवेदी अठानी से, सी सी पाटिल नारगुंड से  बीजेपी की टिकिट पाने में कामयाब रहे. मगर ये वो नाम है जो फरवरी 2012  में विधानसभा सत्र के दौरान सदन में ही पोर्न वीडियो देखते पाए गए थे. इसके साथ एक और नाम शामिल था उस समय के पर्यावरण और बंदरगाहों के मंत्री जे कृष्णा पालमार .

मामले पर सफाई देते हुए प्रेस कॉन्फ्रेंस में श्री सावली ने कहा कि श्री पालेमर उन्हें एक वीडियो दिखा रहे थे जिसमें एक पश्चिमी देश में एक महिला के साथ बलात्कार किया गया था. "यह एक ब्लू फिल्म की तरह लग रहा था, लेकिन यह वह नहीं था. मगर बाद में सच कुछ और ही निकला था. अब सवाल यह है कि महिलाओं के लिए अपने नारे बुलंद करने वाली बीजेपी ने किस मज़बूरी के तहत इस नेताओं को अपने दल की टिकिट थमाई है.

विपक्ष लगातार इस पर हावी होने की कोशिश करता रहा है. बहरहाल सूबे में 12 मई को जब मतदाता अपने मताधिकार का प्रयोग करेंगे तो उनके जहन में फरवरी 2012 में सदन को शर्मिंदा करने वाली वो घटना जरूर जिन्दा ही जाएगी जिसके बाद इन तीनों के साथ बीजेपी को भी जिल्लत सहनी पड़ी थी.  

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