नई दिल्ली : इन दिनों पूरा देश बीजेपी की महाभारत को देख रहा है. इस महाभारत की शुरुआत पूर्व वित्त मंत्री यशवंत सिन्हा द्वारा नोटबंदी और जीएसटी के मुद्दे पर पीएम मोदी और अरुण जेटली पर निशाना साधा था. जिसके बाद जेटली ने और फिर अपरोक्ष रूप से पीएम मोदी ने आलोचकों को महाभारत के पात्र शल्य का उदाहरण दिया था. अब यशवंत सिन्हा ने दुर्योधन और दुशासन की मिसाल देते हुए पलटवार किया है. उल्लेखनीय है कि यशवंत सिन्हा ने यह पलटवार दिल्ली के मुख्यमंत्री केजरीवाल और कांग्रेस नेता मनीष तिवारी की मौजूदगी में दिया. दरअसल सिन्हा कांग्रेस नेता मनीष तिवारी की पुस्तक के विमोचन समारोह के मुख्य अतिथि थे. जहां उन्होंने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी पर पलटवार करते हुए कहा कि शल्य को दुर्योधन ने धोखे से अपने पक्ष में किया था. कौरव सौ भाई थे लेकिन दुर्योधन और दुःशासन को छोड़ कर किसी को न तो आप जानते हैं और न ही मैं. बता दें कि यशवंत सिन्हा ने महाभारत के पात्र शल्य का जिक्र किया, उसकी तुलना पीएम मोदी ने बुधवार को अपने आलोचकों से की थी. यही नहीं सिन्हा ने अरविन्द केजरीवाल के इस बयान का भी समर्थन किया कि देश में डर का माहौल है, जिसके खिलाफ सबको मिलकर आवाज़ उठानी चाहिए. यशवंत सिन्हा के बयान से तिलमिलाई भाजपा ने तीखी प्रतिक्रिया देते हुए कहा कि कांग्रेस के कार्यक्रम में ऐसे बयान देकर साबित कर दिया है कि वो कौरवों के साथ हैं. बीजेपी प्रवक्ता अनिल बलूनी कहा कि उन्हें अर्थशास्त्र का ज्ञान कहां से मिल रहा है. सिन्हा ने कहा कि अगर मनीष तिवारी के कार्यक्रम में शामिल होने पर पार्टी ने उनके खिलाफ कार्रवाई की तो ये उनकी जिंदगी का सबसे अच्छा पल होगा. यह भी देखें यशवन्त सिन्हा मानते हैं कश्मीर में नहीं है सेना की जरूरत जेटली के बयान पर यशवन्त सिन्हा का पलटवार