बॉम्बे स्टॉक एक्सचेंज (बीएसई) ने बुधवार को ट्रेडिंग प्लेटफॉर्म पर सूचीबद्ध प्रतिभूतियों में अत्यधिक मूल्य को रोकने के लिए नए अतिरिक्त निगरानी नियमों पर स्पष्टीकरण दिया। एक्सचेंज ने एक सर्कुलर में कहा है कि उसने सोमवार को जारी अधिसूचना को आंशिक रूप से संशोधित और बदल दिया है। वही इसमें कहा गया है कि यह ढांचा समूह 'X, XT, Z, ZP, ZY, Y' में BSE की विशेष प्रतिभूतियों और 1,000 करोड़ रुपये से कम बाजार मूल्यांकन वाली संस्थाओं पर लागू है। इसमें कहा गया है कि समीक्षा की तारीख को प्रतिभूतियों की कीमत 10 रुपये या उससे अधिक होनी चाहिए। बाजार नियामक सेबी के परामर्श से एक्सचेंजों ने कई निगरानी कदम जैसे ग्रेडेड निगरानी उपाय (जीएसएम), अतिरिक्त निगरानी उपाय (एलटी-एएसएम), अल्पकालिक अतिरिक्त निगरानी उपाय (एसटी-एएसएम), व्यापार के लिए व्यापार (टीटी) शुरू किए हैं। बीएसई ने सोमवार को कहा कि बाजार की अखंडता को बनाए रखने और बीएसई ट्रेडिंग प्लेटफॉर्म पर विशेष रूप से सूचीबद्ध प्रतिभूतियों में अत्यधिक मूल्य आंदोलन को रोकने के अपने प्रयासों को जारी रखते हुए, मौजूदा निगरानी उपायों को और मजबूत करने की आवश्यकता महसूस की गई है। तदनुसार, एक नया निगरानी ढांचा-अर्थात, एड-ऑन प्राइस बैंड फ्रेमवर्क एक्सचेंज द्वारा विशेष रूप से बीएसई ट्रेडिंग प्लेटफॉर्म पर सूचीबद्ध प्रतिभूतियों के लिए पेश किया जा रहा है। क्रिप्टोकरेंसी में अब तक की सबसे बड़ी चोरी, हैकर्स ने उड़ाए 45 अरब रुपए KFC और पिज़्ज़ा हट ऑपरेटर सैफायर फूड्स ने SEBI में दाखिल किया IPO केंद्रीय कर्मचारियों और पेंशनर्स के लिए मोदी सरकार ने किया बड़ा ऐलान, जानिए क्या होगा फायदा