नई दिल्ली। दिल्ली की आम आदमी पार्टी सरकार को केंद्र सरकार ने निराश किया है। दरअसल दिल्ली के विधायकों के वेतन को 400 प्रतिशत बढ़ाने वाले बिल को केंद्र सरकार ने अस्वीकार कर दिया है। इतना ही नहीं इस मामले में केंद्रीय गृह मंत्रालय ने इस मामले में सफाई की मांग की है। सरकार का कहना है कि यदि भत्ते या वेतन बढ़ा दिए गए तो सरकारी खजाने पर अतिरिक्त दबाव बनेगा। ऐसे में राजस्व कहां से आएगा। मिली जानकारी के अनुसार केंद्र सरकार द्वारा बिल लौटाए जाने के बाद दिल्ली के उपमुख्यमंत्री मनीष सिसौदिया ने कहा कि भारतीय जनता पार्टी के विधायक आखिर लग्ज़री सुविधाओं को किस तरह से उपयोग करते हैं। विधायकों ने वेतन 12 हजार से बढ़ाकर 50 हजार करने का प्रस्ताव पारित किया। इस तरह का मासिक पैकेज 88 हजार से 2 .1 लाख करने की बात कही गई है। इसे लागू कर दिए जाने पर दिल्ली के विधायकों का वेतन बहुत अधिक हो जाएगा ऐसे में इन लोगों के वेतन के लिए प्रबंध करना बहुत मुश्किल होगा। केंद्र सरकार ने सवाल किया है कि आखिर किस प्रकार से इसका प्रबंधन होगा। कोई दीवाना कहता है, कोई पागल समझता है 'आप'का विश्वास केजरीवाल का दावा जब्त होगी कैप्टन की जमानत केजरीवाल के पूर्व प्रिंसिपल सेक्रेटरी के खिलाफ मुकदमा चलाने की CBI को मंजूरी जवान तेजबहादुर को लेकर CM केजरीवाल ने किए PM मोदी से सवाल