विश्व ओलंपिक दिवस के मौके पर मंगलवार को ओलंपिक संघ चंबा की ओर से हॉफ मैराथन का आयोजन किया गया. हॉफ मैराथन के सफल आयोजन में द्रोणा मिल्ट्री अकादमी व टीम द हिमालयन राइडर चंबा का भी सहयोग रहा. भारी बारिश के बावजूद युवाओं व महिलाओं ने हॉफ मैराथन में अपनी सक्रिय भूमिका निभाई. उपायुक्त चंबा विवेक भाटिया ने मिलेनियम गेट से हॉफ मैराथन को हरी झंडी दिखाकर रवाना किया. हॉफ मैराथन मिलेनियम गेट से आरंभ होकर सरोथा नाल, चमीनू, पल्यूर व संगेरा से होकर साहो चंद्रशेखर मंदिर के पास जाकर समाप्त हुई. जिला ओलंपिक संघ के संयोजक ने उपाुक्त को स्मृति चिंह भेंटकर सम्मानित करने की रस्म भी अदा की. इस दौरान विशेषतिथि के तौपर पर मौजूद उड़नपरी सीमा को भी ओलंपिक संघ की ओर से सम्मानित किया गया. सोशल डिस्टेंसिंग के बीच आरंभ हुई हॉफ मैराथन को प्रतिभागियों ने एक घंटा बीस मिनट में पूरा किया. हॉफ मैराथन में पुनीत सिंह कुदियाल ने पहला, हिमांशु कुमार ने दूसरा व राहुल चौणा ने तीसरा स्थान हासिल किया. कार्यक्त्रम के मुख्यातिथि उपायुक्त चंबा विवेक भाटिया रहे. इससे पहले मुख्यातिथि ने उपस्थित प्रतिभागियों को शुभकामनाएं दी. उन्होंने साथ ही उड़नपरी सीमा की भी कम उम्र में उपलब्धियां हासिल करने पर पीठ थपथपाई. उन्होंने युवाओं से आह्वान करते हुए कहा कि पढ़ाई के साथ ही खेलकूद प्रतियोगिताओं में भी भाग लेते रहें, ताकि आप शारीरिक व मानसिक तौर पर मजबूत बने रहें. जिला ओलंपिक संघ के संयोजक मनुज शर्मा ने कहा कि हॉफ मैराथन कोरोना योद्धाओं को समर्पित की गई है. उन्होंने कहा कि ओलंपिक संघ के प्रदेशाध्यक्ष व केंद्रीय वित्त राज्य मंत्री अनुराग ठाकुर की प्रेरणा से इसका आयोजन किया गया. उन्होंने कहा कि खेलों को अनुराग ठाकुर प्रदेश में खेलों को बढ़ावा देने के लिए लगातार कार्य कर रहे हैं ताकि युवा प्रतिभाओं को आगे आने का मौका मिले. उन्होंने कहा 21 से अधिक किलोमीटर की कुल दौड़ रही. इस हाफॅ मैराथन में 28 प्रतिभागियों ने हिस्सा लिया. क्या सच में गांगुली और द्रविड़ के डेब्यू से पहली ही डर गया था यह खिलाड़ी इस खिलाड़ी की रातों रात बदली किस्मत, आम आदमी से बना महान क्रिकेटर सचिन ने मलिंगा से कही यह जरुरी बात