बैंगलोर: JDS नेता और पूर्व मुख्यमंत्री एचडी कुमारस्वामी ने दावा किया है कि कर्नाटक में कांग्रेस सरकार किसी भी समय गिर सकती है। हासन में मीडिया को संबोधित करते हुए JDS नेता कुमारस्वामी ने कहा कि कर्नाटक की कांग्रेस सरकार में आंतरिक कलह चरम पर है। उन्होंने किसी नेता का नाम लिए बगैर संकेत दिया कि कर्नाटक में कांग्रेस पार्टी को उसी स्थिति का सामना करना पड़ सकता है, जैसा महाराष्ट्र में उद्धव ठाकरे को करना पड़ा था। कुमारस्वामी ने आगे कहा कि, 'यह सरकार 5 वर्ष तक नहीं चलेगी। मई 2024 के बाद यह निर्धारित है कि यह सरकार गिर जाएगी। किसी भी कीमत पर यह सरकार नहीं टिकने वाली है।' JDS नेता ने अपने इस दावे के पीछे की वजह भी बताई। कुमारस्वामी ने आगे कहा कि, 'कांग्रेस के एक प्रमुख मंत्री केंद्रीय एजेंसियों की जांच के दायरे में हैं। वह कानूनी दिक्कतों से बचने के लिए भाजपा में शामिल हो सकते हैं। वर्तमान में वह भाजपा नेताओं के साथ चर्चा कर रहे हैं और पाला बदलने की प्रक्रिया में 50 से 60 कांग्रेस विधायकों को अपने साथ भाजपा में ला सकते हैं।' जब पत्रकारों ने एचडी कुमारस्वामी से बगावत करने वाले उस कांग्रेस मंत्री का नाम पूछा,तो JDS नेता ने मंत्री की पहचान उजागर किए बिना इस बात पर जोर दिया कि ऐसा साहसिक कदम सिर्फ रसूखदार हस्तियों द्वारा ही उठाया जा सकता है, कोई छोटा नेता यह नहीं कर सकता। कुमारस्वामी ने कहा कि, 'आज का राजनीति माहौल बेहद अप्रत्याशित है। कभी भी कुछ भी हो सकता है। किसी में भी ईमानदारी और वफादारी नहीं बची है। आज वे यहां हैं और कल वे कहीं और कूद जाएंगे, यह देश की मौजूदा राजनीति की दुखद स्थिति है।' बता दें कि, राज्य विधानसभा चुनावों में कांग्रेस के 135 सीटें जीतने के बाद भी कुमारस्वामी ने आगामी लोकसभा चुनावों में सत्तारूढ़ पार्टी की चुनावी शक्ति पर संदेह जाहिर किया है। सामाजिक-आर्थिक सर्वेक्षण का हवाला देते हुए, उन्होंने मुख्यमंत्री सिद्धारमैया पर जाति जनगणना की आड़ में 'जाति के आधार पर लोगों को बांटने' की कोशिश करने का इल्जाम लगाया। अल्पसंख्यकों के विकास के लिए सीएम सिद्धारमैया की 10,000 करोड़ की घोषणा के संबंध में बात करते हुए कुमारस्वामी ने कहा कि, 'मैं मुस्लिमों के लिए धन आवंटित करने के विरुद्ध नहीं हूं, किन्तु हिंदुओं के बारे में क्या? सभी हिंदू ऊंची जातियों से नहीं आते हैं। दलित और गरीब हिंदू भी हैं- उनके लिए क्या प्रावधान किए जा रहे हैं।' उनका यह बयान महाराष्ट्र की स्थिति के समान कर्नाटक में संभावित सियासी परिवर्तन का संकेत देता है। बता दें कि महाराष्ट्र में जून 2022 में शिवसेना के 40 विधायकों ने एकनाथ शिंदे की अगुवाई में उद्धव ठाकरे के खिलाफ बगावत कर दी थी। इसके परिणामस्वरूप उद्धव को 29 जून 2022 को CM पद से इस्तीफा देना पड़ा था और एकनाथ शिंदे गुट ने भाजपा के साथ मिलकर नई सरकार का गठन किया। एकनाथ शिंदे महाराष्ट्र के नए सीएम बने और देवेंद्र फडणवीस डिप्टी सीएम। शेयर बाजार ने रचा इतिहास, पहली बार 70000 के पार पहुंचा सेंसेक्स, झूमे निवेशक बस कुछ घंटों का और इंतजार... फिर मिल जाएगा मध्य प्रदेश को अपना 'नया मुख्यमंत्री', जानिए शिवराज सिंह पर क्या है विश्लेषकों की राय? 'मैं तुझे गोली जरूर मार दूंगा...', TI को जान से मारने की धमकी देने वाले का हुआ शॉर्ट एनकाउंटर