विवादास्पद आईपीएस अधिकारी इंदु भूषण बर्खास्त

राजस्थान : कहते हैं जब किसी चीज की अति हो जाती है, तो उसके नतीजे बहुत खतरनाक होते हैं. ऐसा ही कुछ हमेशा विवादों में रहने वाले चर्चित आईपीएस अधिकारी एडीजी इंदु भूषण के साथ हुआ.एडीजी इंदु भूषण को सरकार ने जबरन अनिवार्य सेवानिवृत्ति देते हुए सेवा से बर्खास्त कर दिया.

उल्लेखनीय है कि 1989 बैच के आईपीएस अफसर इंदु भूषण अपनी सेवा के दौरान 5 बार एपीओ रहे. उन पर अपने घर पर बालश्रम करवाने के आरोप तो लगे ही अपने चालक और गनमैन से हुए विवाद के तहत कथित रूप से गाली-गलौच करने और मारपीट करने का भी आरोप लगा. सबसे बड़ी घटना तो सितंबर, 2016 में हैदराबाद स्थित नेशनल पुलिस एकेडमी में एक कार्यक्रम में हुई थी जब आंध्र प्रदेश के राज्यपाल ईएसएल नरसिम्हन से इंदुभूषण ने बहस की थी.उस समय उन्हें जबरन एकेडमी से निकालकर प्लेन से वापस जयपुर भेजा गया था. यही नहीं गत वर्ष पुलिस मुख्यालय में आयोजित एक कार्यक्रम में एडीजी पीके सिंह से पुलिस अधिकारियों की संपत्ति को लेकर भी उलझे थे. इसके अलावा इंदुभूषण ने राज्य के आईपीएस अधिकारियों पर खुले मंच से भ्रष्टाचार के आरोप भी लगाए थे.

बता दें कि इंदुभूषण के इस व्यवहार को देखते हुए गत वर्ष राजस्थान पुलिस महानिदेशक अजीत सिंह शेखावत ने एडीजी इंदु कुमार भूषण को सस्पेंड करने की सिफारिश गृहमंत्री गुलाब चंद कटारिया को की थी. लेकिन गृहमंत्री ने तब उन्हें बख्श दिया था. लेकिन इस बार पुलिस महानिदेशक अजीत सिंह शेखावत ने दो पेज के एक लंबे चौड़े पत्र में इंदुभूषण का शिकायतनामा भेजकर गृह विभाग को लिखा था. जिसका अंजाम उनकी बर्खास्तगी के रूप में सामने आया.

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