महामारी कोरोना ने आम जनजीवन अस्त वस्त कर दिया है. वही, मरीजों का बेहतर इलाज और मृत्युदर को कम करना सरकार की पहली प्राथमिकता बन गई है. फिलहाल हर दिन कोरोना के तीन हजार से अधिक नए मरीज सामने आ रहे हैं और लॉकडाउन-तीन में मिली छूट का असर अगले हफ्ते सामने आने के बाद हर दिन नए मरीजों की संख्या और ज्यादा होना तय माना जा रहा है. कोरोना के कुल संक्रमितों की संख्या पहले ही 56 हजार के पार कर चुकी है और अगले पांच दिन में 75 हजार से अधिक हो सकती है. अमनमणि प्रकरण में अलग से जांच नहीं करवा रही है उत्तराखंड सरकार आपकी जानकारी के लिए बता दे कि देश में कोरोना के मरीजों की संख्या भले ही तेजी से बढ़ रही हो, लेकिन अच्छी बात यह है कि हर तीसरा मरीज स्वस्थ्य होकर घर भी जा रहा है. जहां कोरोना से स्वस्थ्य होने वाले मरीज 29.36 प्रतिशत है, वहीं इससे मरने वाले मरीज 3.2 प्रतिशत ही हैं. स्वास्थ्य मंत्रालय के संयुक्त सचिव लव अग्रवाल ने कहा कि वैसे तो दुनिया के दूसरे देशों की तुलना में भारत में मरने वालों की मरीजों का प्रतिशत बहुत ही कम है, लेकिन इसे और भी बेहतर किया जा सकता है. कोरोना लॉकडाउन की मुश्किलों को ऐसे आसान बना देंगे इसके अलावा अस्पताल में इलाज के लिए भर्ती मरीजों का आंकड़ा देते हुए लव अग्रवाल ने कहा कि भारत में कुल मरीजों में महज 1.1 फीसदी मरीज ही वेंटिलेटर पर रखने की जरूरत पड़ रही है. 3.2 फीसदी मरीजों को आक्सीजन और 4.7 फीसदी मरीजों को आइसीयू में रखना पड़ता है. यानी केवल नौ फीसदी मरीजों को अस्पताल में विशेष इलाज की जरूरत पड़ रही है. बाकी 91 फीसदी मरीज सामान्य इलाज से ही स्वस्थ्य हो रहे हैं. जबकि दुनिया भर में औसतन 20 फीसदी मरीजों को अस्पताल में विशेष इलाज की जरूरत पड़ती है. आखिर क्या है वंदे भारत मिशन ? जिसके तहत घर वापसी करेंगे भारतीय Video: ग़ाज़ियाबाद में ATM मशीन के अंदर घुस गया सांप, मचा हड़कंप Fact Check: क्या गूगल ने PoK को भारत में मिलाया, मैप से LoC भी गायब ?