देश तथा प्रदेश में जानलेवा कोरोना वायरस के संक्रमण के कारण लंबे लॉकडाउन से उत्पन्न हो रही समस्या से निवारण अब योगी आदित्यनाथ सरकार की वरीयता है. राजस्थान के कोटा में फंसे कोचिंग के छात्र-छात्राओं को उनके घर तक पहुंचाने के बाद सीएम योगी आदित्यनाथ की वरीयता में देश के अन्य राज्यों में फंसे प्रदेश के मजदूर तथा गरीब लोग हैं. व्हाइट हाउस ने खोला राज़, बताया क्यों किया पीएम मोदी को 'अनफॉलो' ? लॉकडाउन जैसी परिस्थिति में सीएम योगी आदित्यनाथ ने आज लोकभवन में टीम-11 के साथ बैठक में कोरोना वायरस के संक्रमण पर अंकुश लगाने के उपाय के साथ ही लोगों के उपचार तथा निदान की प्रगति की समीक्षा की. इसके बाद उन्होंने देश के विभिन्न राज्यों में फंसे उत्तर प्रदेश के कामगारों एवं श्रमिकों को सुरक्षित घरों तक पहुंचाने में सरकार के अभियान की प्रगति को परखा. प्रदेश में हरियाणा से लगभग पूरे मजदूर तथा गरीब लोग प्रदेश में अपने-अपने जिलों में पहुंच गए हैं. आज यानी गुरुवार को मध्य प्रदेश में प्रदेश के कामगारों और श्रमिकों को उनके घरों तक सुरक्षित पहुंचाने की प्रक्रिया शुरू की गई है. आज मध्य प्रदेश से प्रदेश के श्रमिक कामगार लाए जाएंगे. इसके बाद शुक्रवार को गुजरात से श्रमिक तथा कामगार को वापस लाया जाएगा. संसद के आगामी सत्र को लेकर उप राष्ट्रपति वैंकैया नायडू ने बोली यह बात आपकी जानकारी के लिए बता दे कि सीएम योगी आदित्यनाथ ने आज बैठक में सभी राज्यों में फंसे यूपी के कामगारों और श्रमिकों से भावुक अपील भी की. उन्होंने कहा कि अभी तक आप लोगों ने जिस धैर्य का परिचय दिया है उसे बनाए रखें. हम संबंधित राज्यों की सरकारों से संपर्क कर सभी को घरों तक सुरक्षित पहुंचाने की विस्तृत कार्ययोजना तैयार कर रहे हैं. हमारे प्रदेश का कोई भी श्रमिक तथा कामगार इस संकट की घड़ी में किसी अन्य प्रदेश में नहीं रहेगा, यह हमारा प्रयास है. फिलहाल आप लोग जहां हैं, वहीं रहें, संबंधित राज्य सरकारों के संपर्क में रहें, कतई पैदल ना चलें. प्रदेश सरकार ने सभी राज्यों को पत्र लिख कर यूपी के कामगारों और श्रमिकों का विस्तृत ब्यौरा मांगा है. सभी का नाम, पता और मोबाइल नंबर के साथ ही मेडिकल रिपोर्ट मांगी गई है. क्या 'बहन' को मिलेगा किम जोंग उन का सिंहासन ? जानिए क्या कहते हैं जानकार 24 घंटे में 2502 लोगों की मौत, अमेरिका में लगातार बढ़ रहा मौतों का आंकड़ा कोरोना: रसातल में पहुंची अमेरिका की इकॉनमी, 2014 के बाद पहली बार माइनस में GDP ग्रोथ