जम्मू: करतारपुर कॉरिडोर का बुधवार को पाकिस्तान में शिलान्यास किया गया था। इस कॉरिडोर के खुलने से सिख समुदाय के लोग अब पवित्र गुरुद्वारे ननकाना साहिब के दर्शन कर सकेंगे। जानकारी के अनुसार बता दें कि अब कश्मीरी पंडितों का एक समूह शारदा पीठ को खोलने की मांग कर रहा है। बता दें कि यह एक महत्वपूर्ण मंदिर है जो लाइन ऑफ कंट्रोल में आता है। वहीं बता दें कि केवल इतना ही नहीं मुख्यधारा की राजनीतिक पार्टियां जैसे कि पीपुल्स डेमोक्रेटिक पार्टी ने भी इसे लेकर अपनी आवाज उठाई है। किसान आंदोलन: एक ही मंच पर साथ आए राहुल और केजरीवाल, पीएम मोदी पर जमकर दागे जुबानी तीर यहां बता दें कि अब पाकिस्तान के प्रधानमंत्री इमरान खान को यह कहते हुए सुना गया है कि उनकी सरकार दूसरे प्रस्तावों पर भी विचार कर सकती है जिसमें कश्मीर के शारदा पीठ की यात्रा भी शामिल है। बता दें कि यह एक प्राचीन शारदा मंदिर है, जिसे शारदा और शरादा भी कहा जाता है। यहां बता दें कि नीलम घाटी में स्थित शारदा विश्वविद्यालय में आज भी पुरातन मंदिर के अवशेष मिलते हैं। यह स्थान मुजफ्फराबाद से 160 किलोमीटर की दूरी पर लाइन ऑफ कंट्रोल के छोटे से गांव शारदी या सारदी में स्थित है। बता दें कि यहां नीलम नदी मधुमति और सरगुन की धारा में मिलती है। मी टू अभियान के बाद भारत में कार्यस्थलों पर बदला माहौल गौरतलब है कि द सेव शारदा कमेटी जो कश्मीरी पंडितों के तीर्थयात्रियों को शारदा मंदिर जाने की इजाजत देने के अभियान को चला रहा है, उसका कहना है कि उसके सदस्य दोनों तरफ के लोग हैं। उन्होने केंद्र सरकार को एक याचिका दी है और पाकिस्तान के प्रधानमंत्री को भी पत्र लिखा है। इसके अलावा कमेटी के अध्यक्ष रविंदर पंडित ने कहा कि अब मैंने सुना है कि उन्होने इसके बारे में बात की है, इससे हमें काफी उम्मीद मिली है। खबरें और भी भाजपा के दो दिग्गज नेताओं ने दिया पार्टी से इस्तीफा, पत्र में लिखा शोपीस बनकर नहीं रह सकते आरएसएस निकालेगा राम मंदिर मुद्दे पर रथयात्रा, दिल्ली से शुरू होगा संघ का नया मिशन यौन उत्पीड़न के आरोप में महिला हुई गिरफ्तार, 17 साल के लड़के से की थी शादी