वाराणसी: उत्तर प्रदेश के वाराणसी से एक चौंकाने वाली घटना सामने आई है यहाँ कोतवाली थाना क्षेत्र के गाय घाट इलाके में एक पुजारी ने मां काली के साक्षात दर्शन न होने से अत्यधिक दुखी होकर आत्महत्या कर ली। यह दुखद घटना सोमवार रात की है, जब पुजारी ने मां काली की आराधना के चलते अपने गले में धारदार कटर से काट लिया। खबर प्राप्त होने पर पुलिस मौके पर पहुंची तथा शव को कब्जे में लेकर पोस्टमार्टम के लिए भेज दिया। मृतक पुजारी की पहचान 45 वर्षीय दिनेश प्रसाद के रूप में हुई है। वह अपनी पत्नी और बच्चों के साथ गाय घाट इलाके में एक किराए के मकान में रहता था। बताया जा रहा है कि पुजारी बीते 24 घंटे से मां काली की आराधना और साधना में पूरी तरह से लीन था। उसने मां काली के साक्षात दर्शन के लिए अनवरत पूजा-अर्चना की थी, किन्तु 24 घंटे के पश्चात् भी जब उसे मां काली के दर्शन नहीं हुए, तो वह हताश हो गया। इस हताशा के परिणामस्वरूप उसने आत्महत्या जैसा कठोर कदम उठा लिया। घटना के वक़्त पुजारी की पत्नी घर पर ही मौजूद थी। जब उसने अपने पति को लहूलुहान हालत में देखा, तो वह तुरंत उसे चिकित्सालय ले गई। हालांकि, डॉक्टरों ने चिकित्सालय में उसे मृत घोषित कर दिया। इसके बाद पुलिस को घटना की सूचना दी गई। पुलिस ने घटना स्थल पर पहुंचकर मामले की तहकीकात शुरू की। प्रारंभिक तहकीकात में यह पता चला कि पुजारी अपनी धार्मिक आस्था से अत्यधिक प्रभावित था। वह मां काली के दर्शन के लिए कई दिनों से कठिन साधना कर रहा था तथा उसने किसी भी कीमत पर मां काली के दर्शन का विश्वास किया था। इसके बावजूद जब वह दर्शन पाने में असफल रहा, तो वह गहरे मानसिक तनाव और निराशा से घिर गया, जिसने उसे आत्महत्या करने के लिए प्रेरित किया। पुलिस ने इस मामले को आत्महत्या का मामला माना है, किन्तु वे इसे अन्य तरीकों से भी जांचने की प्रक्रिया में हैं। पुलिस ने बताया कि पुजारी की धार्मिक आस्था एवं मानसिक स्थिति को ध्यान में रखते हुए वे पूरे मामले की गहनता से तहकीकात कर रहे हैं। इस दुखद घटना से स्थानीय समुदाय में शोक की लहर है तथा लोग पुजारी की मृत्यु के कारणों पर चर्चा कर रहे हैं। केजरीवाल का बड़ा झटका, दिल्ली चुनाव अकेले लड़ेगी AAP क्या है अतुल सुभाष की पूरी कहानी? आत्महत्या से पहले बनाया डेढ़ घंटे का वीडियो 'निर्दोष पति और परिवार ना फंसे…', दहेज उत्पीड़न के मामले पर सुप्रीम कोर्ट सख्त