भूकंप के झटकों से डोली असम की धरती, रिक्टर स्केल पर इतनी रही तीव्रता

नई दिल्ली: रविवार सुबह असम के उदालगुड़ी जिले में 4.2 तीव्रता का भूकंप आया, जिससे उत्तर-मध्य असम के इलाके हिल उठे। नेशनल सेंटर फॉर सीस्मोलॉजी के अनुसार, भूकंप का झटका सुबह 7:47 बजे ब्रह्मपुत्र नदी के उत्तरी तट पर महसूस किया गया, जिसका केंद्र जमीन से 15 किलोमीटर गहराई में स्थित था।

भूकंप का केंद्र गुवाहाटी से लगभग 105 किलोमीटर उत्तर और तेजपुर से 48 किलोमीटर पश्चिम में असम-अरुणाचल प्रदेश की सीमा के पास था। इस झटके को आसपास के दरांग, तामुलपुर, सोनितपुर, कामरूप और बिस्वनाथ जिलों के निवासियों ने भी महसूस किया। इसके अलावा, ब्रह्मपुत्र के दक्षिणी किनारे पर स्थित कामरूप मेट्रोपॉलिटन, मोरीगांव और नागांव जिलों में भी लोग भूकंप से प्रभावित हुए। भूकंप की तीव्रता इतनी थी कि पश्चिमी अरुणाचल प्रदेश और पूर्वी भूटान के कुछ इलाकों में भी इसका असर देखा गया। हालांकि, अभी तक किसी प्रकार के नुकसान की कोई सूचना नहीं है। उत्तर-पूर्वी क्षेत्र भूकंपीय दृष्टि से अत्यधिक संवेदनशील है, इसलिए वहां भूकंप आना सामान्य बात है।

असम भारत के उत्तर-पूर्वी हिस्से में स्थित है और यह भूकंपीय गतिविधियों के लिए एक संवेदनशील क्षेत्र माना जाता है। यह इलाका भारतीय, यूरेशियन और बर्मीज प्लेटों के टकराव क्षेत्र के पास स्थित है। ये प्लेटें निरंतर हिलती-डुलती रहती हैं और जब इन पर दबाव बढ़ जाता है, तो भूकंप उत्पन्न होता है। जब इन प्लेटों पर जमा तनाव उनकी सहनशक्ति से अधिक हो जाता है, तो यह तनाव भूकंप के रूप में अचानक से निकलता है, जिससे झटके महसूस किए जाते हैं।

इस क्षेत्र में मुख्य हिमालयी थ्रस्ट और कोपिली फॉल्ट जैसे प्रमुख सक्रिय फॉल्ट्स हैं, जो यहां भूकंपीय गतिविधियों के प्रमुख कारण हैं। खासकर भारतीय प्लेट का यूरेशियन प्लेट के साथ संपर्क में आना क्षेत्र में बार-बार भूकंप का कारण बनता है, जो इस क्षेत्र की अत्यधिक संवेदनशीलता को दर्शाता है।

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