नई दिल्ली: मुंबई हाई कोर्ट में पीएनबी महाघोटाले के मुख्य आरोपी मेहुल चौकसी के खिलाफ प्रवर्तन निदेशालय द्वारा चार्जशीट दायर की गई थी. जिसमे मुख्य रूप से मेहुल चौकसी को ही पुरे घोटाले का मास्टरमाइंड बताया गया है. ईडी ने अपनी चार्जशीट में लिखा है कि "पीएनबी घोटाले में जितनी भी कंपनियां और अध्यक्ष शामिल थे, उन सभी ने घोटाले में मात्र कठपुतली की तरह काम किया है, जबकि इस पुरे घोटाले में निर्णय के अधिकार सिर्फ मेहुल चौकसी के पास थे." नीरव और मेहुल को कोर्ट का समन, सितम्बर में होगी सुनवाई गौरतलब है कि गुरुवार को मेहुल चौकसी के खिलाफ अदालत ने समन भी जारी किया है, जिसके अनुसार दोनों अपराधियों को 25 और 26 सितम्बर को होने वाली पेशी में उपस्थित होना अनिवार्य है. वहीं सीबीआई को मिली खबर के अनुसार मेहुल चौकसी फ़िलहाल एंटीगुआ में छिपा हुआ है और उसने एंटीगुआ का पासपोर्ट भी हासिल कर लिए है. पीएनबी सहित पांच बैंक अब सरकार भरोसे सीबीआई के इस खुलासे के बाद चोकसी ने अपने वकील के जरिए बयान जारी कर कहा कि उसने अपना व्यापार बढ़ाने के लिए पिछले वर्ष कैरेबियाई देश एंटीगुआ की नागरिकता ले ली थी. चौकसी के बयान के अनुसार उसने नवंबर, 2017 में एंटीगुआ की नागरिकता ली है और 15 जनवरी, 2018 को देशभक्ति की शपथ ली है. आपको बता दें कि सीबीआई ने एंटीगुआ के अधिकारियों को पत्र लिखकर भगोड़े हीरा व्यवसायी मेहुल चोकसी के ठिकाने के बारे में जानकारी मांगी है. खबरें और भी:- नीरव मोदी के खिलाफ इंटरपोल का रेड कॉर्नर नोटिस तीसरी बार मिले पीएम मोदी और जिनपिंग, ये रहे मुद्दे ब्रिक्स 2018: अफ्रीकी देशों की मदद के लिए तत्पर भारत- पीएम मोदी