इंग्लैंड की टीम इस बार फीफा विश्व कप के ग्रुप-जी के एक मुकाबले में सोमवार को ट्यूनीशिया के खिलाफ होने वाले मैच में जीत के साथ अपने अभियान की शुरुआत करना चाहेगी. बता दें कि इंग्लैंड की टीम इस टूर्नामेंट की सबसे युवा टीम है और सोमवार को ट्यूनीशिया के खिलाफ अपना पहला मुकाबला खेलने जा रही है. हालाँकि इंग्लैंड टीम का पिछले रिकॉर्ड काफी खराब रहा है. टीम को पिछले साल ब्राजील में खेले गए विश्व कप में ग्रुप चरण और यूरो 2016 में दूसरे राउंड से बाहर हो अपने प्रशंसकों का दिल तोड़ दिया था. हालांकि यही वजह है कि रूस में चल रहे फुटबॉल विश्व कप 2018 में भी इंग्लैंड के प्रशंसकों को अपनी टीम से ज्यादा उम्मीदें नहीं है. एक तरह से देखें तो इंग्लैंड की टीम में ऐसा कोई भी बड़ा नाम नहीं है जिससे उम्मीदें बांधी जा सके. टीम के कोच साउथगेट के नेत्रत्व में नाइजीरिया और कोस्टारिका के खिलाफ दोस्ताना मुकाबलों में मिली जीत से टीम का मनोबल ऊंचा है. साउथगेट को उम्मीद है कि हेरी मेगयूरे और किरेन ट्रिप्यिर अपने फॉर्म में लौट सकते हैं. वहीं कप्तान हेरी केन और रहीम के फ्रंट से शुरू करने की उम्मीद है. दूसरी तरफ ट्यूनीशिया की बात करें तो टीम चार बार विश्व कप का हिस्सा रहने के बावजूद एक बार भी ग्रुप चरण के मुकाबलों से आगे नहीं बढ़ पाई है. वहीं टीम ने अबतक कुल 12 मुकाबले खेले है जिसमे उसे सिर्फ एक में जीत मिली है. 1978 के विश्वकप मे ट्यूनीशिया ने मैक्सिको को हरा कर इतिहास रचा था. ऐसे में इंग्लैंड का पलड़ा थोड़ा भारी जरूर नजर आता है. फुटबॉल विशव कप: बेल्जियम और पनामा की कड़ी टक्कर फीफा वर्ल्ड कप में मौजूदा चैंपियन जर्मनी की हार ब्राज़ील के इरादों पर स्विटजरलैंड ने पानी फेरा