दोस्तों सही मायनों में पर्यावरण की सुरक्षा के लिए थोड़े से प्रयास की आश्यकता होती है. पर्यावरण की समस्या को सुलझाने के लिए पूरी दुनिया को एक होने की जरुरत है. अधिक समस्या गरीब देशों के साथ है क्योंकि इन देशों के सामने पहले से ही कुछ मूलभूत समस्याएं रहती है. ऐसे में विकसित देशों की जिम्मेदारी ज्यादा बढ़ जाती है. हाला कि पूरी दुनिया को पर्यावरण के मुद्दे पर एक करने का काम किया है पेरिस में हुए समझौदे ने किया और धीरे-धीरे इस ओर काम होना भी शुरू हो गए हैं. पर्यावरण को बचाने के लिए हमे उत्पादों के उपयोग की पुनरावृत्ति की कोशिश करना चाहिए. खास कर कांच, कागज , प्लास्टिक जैसी चीजों को फिर से उपयोग में लिया जा सकता है. घर में उपयोग होने वाले खाली जार या फिर टूटा चश्मा जैसी वास्तु जो कांच से बनी हो और अब उपयोगी नहीं है ऐसी चीजों की पुनरावृत्ति होनी चाहिए. इसके साथ ही रोज आने वाले अखबारों के पुराने होने पर उनका उपयोग किया जाना चाहिए. गर्मी में तो दोस्तों पानी की आवश्यकता वैसे ही बढ़ जाती है और कहते भी हैं कि जल ही जीवन है. भविष्य में तो पानी सोने से अधिक कीमती होगा. इसलिए हमे अभी से इस और ध्यान देने की आवश्यकता है. विश्व पर्यावरण दिवस मना रहा पर्यावरण का सबसे बड़ा दुश्मन विश्व पर्यावरण दिवस: वादियों में आग लगाते लोग, गमलो में दरख्तों को सजाते लोग विश्व पर्यावरण दिवस : किसी ख़ास के लिए हर साल लगाईं एक पेड़