बिहार क्रिकेट का 16 साल पुराना सपना अब होगा पूरा

नई दिल्ली: बिहार क्रिकेट बोर्ड को रणजी जैसे बड़े मैचों में अपनी प्रतिभा दिखाने का मौका आखिरकार मिल ही गया है. लोढा कमेटी की सिफारिशों के आधार पर कमेटी ऑफ एडमिनिस्ट्रेटर के चार सदस्यीय कमेटी ने बीसीसीआई की वेबसाइट पर नया संविधान अपलोड किया है, 

वेबसाइट पर अपलोड हुए संविधान में बिहार के अलावा कई राज्यो को क्रिकेट खेलने की पूर्ण मान्यता प्राप्त की गई है तो वही विदर्भ, मुंबई, सौराष्ट्र व बड़ौदा से पूर्ण मान्यता का दर्जा छीन लिया गया है. कमेटी ने वेबसाइट पर यह स्पष्ट कर दिया है कि एक राज्य में पूर्ण मान्यता प्राप्त एक ही संघ होगा.  

बिहार को मिले इस पूर्ण मान्यता के बाद उनका 16 वर्षो का वनवास ख़त्म होने आ रहा है. 2000 में झारखण्ड से बंटवारा होने के बाद से बिहार के क्रिकेटर दूसरे राज्यो में खेलते है. बता दे बिहार को  पूर्ण मान्यता मिलने की आस में दो पीढ़ियां अपना करियर गंवा चुकी है.     

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