सुल्तानपुर: उत्तर प्रदेश के सुल्तानपुर में STF ने बड़े माफिया एवं शार्प शूटर विनोद कुमार उपाध्याय को एक एनकाउंटर में ढेर कर दिया है। गोरखपुर पुलिस ने विनोद कुमार उपाध्याय पर 1 लाख रुपये का इनाम रखा था। विनोद उपाध्याय ने वर्ष 2007 में BSP के टिकट पर विधानसभा का चुनाव भी लड़ा था मगर वो हार गया था। आपको बता दें कि शार्प शूटर विनोद कुमार उपाध्याय अपना एक संगठित गिरोह बनाकर गोरखपुर, बस्ती, संतकबीर नगर, लखनऊ में कई सनसनीखेज हत्या की घटनाओं को अंजाम दे चुका था। उपाध्याय का एनकाउंटर एसटीएफ मुख्यालय के डिप्टी एसपी दीपक कुमार सिंह के नेतृत्व में उनकी टीम ने किया है। गोरखपुर, बस्ती एवं संतकबीर नगर में विनोद उपाध्याय के खिलाफ 35 मामले दर्ज थे मगर उसे किसी में भी सजा नहीं मिली थी। शुक्रवार को तड़के जब STF की टीम ने उसे घेरा तो वो बचने के लिए गोलीबारी करने लगा। उसने STF टीम पर कई राउंड फायरिंग की तत्पश्चात, जवाबी कार्रवाई में उसे STF की गोली लगी। गोली लगने के पश्चात् उसे हॉस्पिटल में भर्ती कराया गया जहां उसकी मौत हो गई। उपाध्याय को 7 महीने से एसटीएफ और गोरखपुर अपराध शाखा की टीम ढूंढ रही थी। विनोद उपाध्याय उत्तर प्रदेश के माफियाओं की टॉप 10 लिस्ट में सम्मिलित था। विनोद उपाध्याय अयोध्या जिले के पुरवा का रहने वाला था तथा पिछले वर्ष सितंबर महीने में उत्तर प्रदेश पुलिस ने उस पर एक लाख रुपये का इनाम घोषित किया था। विनोद उपाध्याय उस समय ख़बरों में आया था जब उसने एक थप्पड़ मारे जाने के कारण क़त्ल कर दिया था। विनोद उपाध्याय की लिए जुर्म की दुनिया में एंट्री इसी वारदात के माध्यम से हुई थी। दरअसल वर्ष 2004 में गोरखपुर जेल में बंद अपराधी जीतनारायण मिश्र ने किसी बात पर विवाद होने के बाद उसे थप्पड़ जड़ दिया था। जब अगले वर्ष जीतनारायण मिश्र जेल से बाहर आया तो मौका देखकर विनोद उपाध्याय ने वर्ष 2005 में संतकबीरनगर बखीरा के पास उसका क़त्ल कर दिया जिससे वो खबरों में आ गया। INLD नेता दिलबाग सिंह के घर मिला कुबेर का 'खजाना', बरामद हुए 5 करोड़ कैश, 5 किलो सेना और 300 कारतूस 'मैं मर जाती हूं, तू खूब गेम खेलना...', बेटी ने माँगा मोबाइल तो भड़की माँ ने उठा लिया ये खौफनाक कदम बिहार में 12 लोकसभा सीट मांग रही कांग्रेस, कितनी देंगे लालू-नितीश ?