पणजी : प्रदेश के मुख्यमंत्री मनोहर परिकर अब इस दुनिया में नहीं हैं। उनकी सादगी का हर कोई कायल रहता था। बतौर मुख्यमंत्री वो बिना किसी की फिक्र किए स्कूटर से भी ऑफिस पहुंच जाते थे। लोग उन्हें स्कूटर वाला मुख्यमंत्री भी कहते थे। परिकर आधी बांह की शर्ट पहनना पसंद करते थे। उन्हें वीआईपी कल्चर पसंद नहीं था, यही वजह थी कि वो रेस्तरां की बजाय फुटपाथ पर चाय-नाश्ता किया करते थे। यहीं से मोहल्लों की खबर जुटा लिया करते थे। आज से शुरू होंगे लोकसभा चुनाव के पहले चरण के लिए नामांकन पसंद नहीं रही हूटर वाली गाड़ी सूत्रों से प्राप्त जानकारी के अनुसार वह हमेशा कहते थे, "चाय स्टॉल पर सभी नेताओं को चाय पीनी चाहिए, राज्य की सारी जानकारी यहां मिल जाती हैं।" वह पंक्ति में लगकर खाना खाते थे, अपना काम भी लाइन में लगकर ही करवाते थे। उनकी सादगी का अंदाजा इससे लगाइए कि उन्हें हूटर लगी गाड़ियां पसंद नहीं थीं। डॉ. मनोहर गोपालकृष्णन प्रभु परिकर चार बार गोवा के मुख्यमंत्री रहे। परिकर के निधन के भाजपा विधायकों से मिलने पणजी पहुंचे नितिन गडकरी ऐसा रहा अब तक का राजनैतिक सफर हम आपको बता दें पहली बार 2000 से 2002 तक, दूसरी बार 2002 से 2005, तीसरी बार 2012 से 2014 और चौथी बार 14 मार्च 2017 से अब तक। 2017 में जब भाजपा गोवा विधानसभा चुनाव में बहुमत से दूर थी, तब दूसरे दलों ने परिकर को मुख्यमंत्री बनाने की शर्त पर ही समर्थन दिया था। इसके चलते वह दिल्ली से फिर गोवा चले गए। इसके पहले ढाई साल तक वे देश के रक्षा मंत्री रहे। उन्होंने पहला आम चुनाव 1991 में लड़ा था, पर हार गए थे। 1994 के विधानसभा चुनाव में वह पहली बार जीते थे। जून 1999 में वह नेता प्रतिपक्ष बने। गोवा के सीएम मनोहर पर्रिकर के निधन से दुखी हुआ देश, कई राजनेताओं ने जताया शोक अपने दादाजी समेत तीन लोगों की हत्या करने वाले बदमाश को पुलिस ने दबोचा बिहार में पुलिस और कुख्यात अपराधियों के बीच हुई जमकर मुठभेड़