आम आदमी पर पड़ेगी महंगाई की मार, चीनी के दाम बढ़ाने पर विचार कर रही सरकार

नई दिल्ली: खाद्य सचिव सुधांशु पांडे ने कहा है कि किसानों के तक़रीबन 22 हजार करोड़ रुपए के गन्ने के बकाया का भुगतान करने में सहयता करने के लिए सरकार चीनी के न्यूनतम विक्रय मूल्य को 31 रुपए प्रति किलोग्राम से बढ़ाने के प्रस्ताव पर विचार कर रही है। उन्होंने कहा कि सरकार द्वारा किए जा रहे उपायों से किसानों को पर्याप्त मात्रा में गन्ना बकाया का जल्द भुगतान सुनिश्चित होगा।

पांडे ने प्रेस वालों से कहा कि हमें इस मामले पर राज्य सरकारों से सुझाव प्राप्त हुए हैं। यहां तक ​​कि नीति अयोग ने भी वृद्धि की सिफारिश की है। हम इस मामले पर गौर कर रहे हैं। हम किसानों और उपभोक्ताओं दोनों के हित में एक संतुलित दृष्टिकोण अपनाकर योजना बनाएँगे। हालाँकि, अधिकारी ने यह नहीं बताया कि कीमत कितनी बढ़ाई जाएंगी। हालांकि, गन्ना और चीनी उद्योग पर नीति अयोग द्वारा गठित एक टास्क फोर्स ने दो रुपए प्रति किलो की एकमुश्त वृद्धि की अनुशंसा की है।

बढ़ोतरी की संभावना इसलिए भी है क्योंकि कृषि लागत और मूल्य आयोग ने वर्ष 2020-21 के लिए गन्ने का उचित और लाभकारी मूल्य (FRP) 10 रुपए प्रति क्विंटल बढ़ाकर 285 रुपए करने की अनुशंसा की है। गत वर्ष, सरकार ने चीनी मिलों द्वारा थोक ग्राहकों को बिक्री के मूल्य में दो रुपए प्रति किग्रा की बढ़ोतरी कर इसे 31 रुपए प्रति किग्रा कर दिया था।

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