उदित नारायण का आज जन्मदिन है। उदित नारायण आज अपना 67वां जन्मदिन मना रहे हैं। उदित ने अपने करियर में कई ऐसे-ऐसे गाने गाए हैं जो बेहतरीन रहे हैं। उदित नारायण किसान के बेटे थे और उनके पिता चाहते थे कि वो डॉक्टर या इंजीनियर बने, हालाँकि उदित नारायण की मां लोगों के घरों में गाने गाया करती थीं। वहीं लोकगीत गाने वाली उनकी मां ने उनसे कहा था कि पढ़ लिख लो क्योंकि ये जरूरी है बाकि तुम अगर गायक बनना चाहते हो तो बनो। ऐसे में पांच-छह साल की उम्र से उदित नारायण ने गांव के मेलों और संगीत भजन संध्याओं में गाना शुरू किया था। जानवरों से अंग्रेजी में बात कर रही थी ये एक्ट्रेस हो गई ट्रोल उसके बाद दसवीं पास करने के बाद उदित नारायण नेपाल के शहर काठमांडू चले गए। यहाँ पर वह एक रेडियो स्टेशन पर लोकगीत गाया करते थे जिससे उन्हें मासिक 100 रुपए का मेहनताना मिलता था। उदित नारायण ने इस बारे में बात करते हुए बताया था कि उस 100 रुपए में उस जमाने में सिर्फ चाय पीने का ही खर्चा निकल पाता। इसके चलते रात में वह 5 स्टार होटल्स में जाकर गाना गाया करता था और इसी के साथ ही नाइट कॉलेज भी कर रहे थे कि तभी इंडियन एंबेसी ने इन्हें संगीत के लिए स्कॉलरशिप भी दे दी। उसके बाद बंबई का सफर शुरू हुआ। उदित नारायण फ्री टाइम में जाकर बड़े संगीतकारों की रिकॉर्डिंग सुना करते और सभी से मिलते, हालाँकि जिनसे भी उदित मिलते वो उनकी पर्सनालिटी को देख कहते थे कि ये लड़का जरूर एक दिन कुछ करेगा। साल 1980 में '1920' फिल्म में राजेश रोशन ने उदित नारायण को उषा मंगेशकर और मोहम्मद रफी के साथ गाने के लिए खड़ा कर दिया। वहीं इसके बाद उदित नारायण की चर्चा हर जगह होने लगी। इसके बाद 'कयामत से कयामत तक' में उदित नारायण को कई गाने गाने का मौका मिला। फिल्म पहले हफ्ते में कुछ खास नहीं चल पाई और इसके चलते उदित नारायण को लगा कि अब तो काम बंद बोरिया बिस्तर उठाकर गांव लौटना पड़ेगा। हालाँकि दूसरे हफ्ते के खत्म होने के बाद फिल्म ने जो रफ्तार पकड़ी लोग एक-एक डायलॉग पर ताली बजाने लगे और एक एक गाने पर नाचने लगे। वहीं इसके बाद उदित नारायण की किस्मत खुल गई। रजनीकांत के साथ था इस मशहूर एक्ट्रेस का अफेयर, घर में पंखे से लटकी मिली थी लाश भोपाल की सैर पर निकलीं नव्या नवेली नंदा, शेयर की तस्वीरें कार्तिक आर्यन ने एक फीमेल फैन को लेकर किया चौकाने वाला खुलासा