लखनऊ: उत्तर प्रदेश के वाराणसी में मंगलवार को हुई भारी बारिश के बाद जिले के कई इलाकों की सड़कें (Water Logging) पानी में डूब गईं है. एक घंटे की बारिश के बाद बाबा विश्वनाथ की नगरी काशी जलमग्न नजर आई. बारिश के कारण नगर निगम की ड्रेनेज व्यवस्था फेल नजर आई. सरकार ने ड्रेनेज सिस्टम पर करोड़ों रुपए खर्च भी किए हैं, किन्तु प्रशासन के उपाय कारगर साबित होते नज़र नहीं आए. बारिश के कारण कई इलाकों में पानी जमा होने से लोगों को समस्या का सामना करना पड़ा. गोदौलिया से दशाश्वमेध मार्ग हो या फिर गिरजाघर या फिर नई सड़क जैसी सड़कें समंदर जैसी दिखने लगी. राहगीरों और वाहन चालकों को घुटने तक तो कहीं कमर तक पानी से होकर गुजरना पड़ा. लोग जान को जोखिम में डालकर पानी पार करते नज़र आए, सड़कों पर पानी भर जाने से जनता में आक्रोश भी दिखा. उन्होंने नगर निगम और स्थानीय प्रशासन को जमकर कोसा. बनारस की सड़कें, गलियां पानी से लबालब भर गए, लीकेज नालों के कारण भी लोगों की परेशानी बढ़ गई. हालांकि, बारिश के कारण लोगों को उमस से राहत अवश्य मिली है. बारिश के बाद यहां अधिकतम तापमान 33.4 डिग्री रिकॉर्ड किया गया, वहीं न्यूनतम तापमान 26 डिग्री सेल्सियस रहा. मौसम विभाग ने अनुमान जताया है कि बनारस में अभी कुछ और दिन इसी प्रकार से बारिश की संभावना हैं. बारिश और खराब मौसम के चलते कई इलाकों में पावर सप्लाई भी बाधित हुई है. लेडी डॉक्टर को 13 माह में 3 बार हुआ कोरोना, ले चुकी हैं वैक्सीन की दोनों डोज़ सोने की कीमत के लगातार दूसरे दिन आई गिरावट, जानिए क्या है आज का भाव बीजेपी के खिलाफ बसपा के सतीश का विवादित बयान, कहा- "निजी इस्तेमाल के लिए राम मंदिर के चंदे..."