हेमंत सोरेन ने गुरुवार शाम को तीसरी बार झारखंड के मुख्यमंत्री के रूप में शपथ ली। सोरेन की नियुक्ति बुधवार को विधायक दल के नेता के रूप में चुने जाने के बाद हुई है, और मौजूदा मुख्यमंत्री चंपई सोरेन ने उसी दिन अपने पद से इस्तीफा दे दिया था। 48 वर्षीय नेता को रांची के राजभवन में आयोजित एक समारोह में राज्यपाल रमेश बैस ने पद की शपथ दिलाई। सोरेन की झारखंड मुक्ति मोर्चा (JMM) पार्टी ने राज्य में सरकार बनाने के लिए कांग्रेस और राष्ट्रीय जनता दल (RJD) के साथ गठबंधन किया है। सोरेन के शपथ ग्रहण समारोह में कांग्रेस नेता और पूर्व मुख्यमंत्री हरीश रावत और राजद नेता तेजस्वी यादव सहित कई गणमान्य व्यक्ति शामिल हुए। नए मुख्यमंत्री ने झारखंड के लोगों के विकास और कल्याण के लिए काम करने और पार्टी के घोषणापत्र में किए गए वादों को पूरा करने का वादा किया है। हेमंत सोरेन का तीसरी बार मुख्यमंत्री बनना झारखंड के राजनीतिक परिदृश्य में एक महत्वपूर्ण घटनाक्रम है। सोरेन दो दशकों से अधिक समय से राज्य की राजनीति में एक प्रमुख खिलाड़ी रहे हैं और राज्य की नीतियों और कार्यक्रमों को आकार देने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाते रहे हैं। उनके नेतृत्व में कई महत्वपूर्ण पहल की गई हैं, जिसमें संविधान की पांचवीं अनुसूची का कार्यान्वयन शामिल है, जो आदिवासी कल्याण से संबंधित मामलों पर राज्यपाल को सलाह देने के लिए एक आदिवासी सलाहकार परिषद की स्थापना का प्रावधान करती है। सोरेन की सरकार से शिक्षा, स्वास्थ्य सेवा और बुनियादी ढांचे के विकास सहित कई प्रमुख क्षेत्रों पर ध्यान केंद्रित करने की उम्मीद है। नए मुख्यमंत्री ने युवाओं के लिए रोजगार के अवसर पैदा करने और राज्य में औद्योगिक विकास को बढ़ावा देने की दिशा में काम करने का भी वादा किया है। कुल मिलाकर, हेमंत सोरेन का तीसरी बार मुख्यमंत्री के रूप में शपथ लेना झारखंड के राजनीतिक परिदृश्य में एक महत्वपूर्ण घटनाक्रम है, और उनकी सरकार से राज्य के लोगों के विकास और कल्याण की दिशा में काम करने की उम्मीद है। एटॉमिक एनर्जी विभाग में निकली नौकरियां, मिलेगी जबरदस्त सैलरी UPSC सिविल सेवा परीक्षा 2024: 1056 रिक्तियों के लिए ऑनलाइन आवेदन करें NHM पंजाब में 170 चिकित्सा अधिकारी रिक्तियों के लिए ऑनलाइन करें आवेदन