देहरादून : अबकी बार हेमकुंड साहिब की तीर्थयात्रा के दौरान तीर्थयात्रियों को तीन मीटर तक बर्फ की टनल से गुजरना पड़ेगा। हेमकुंड साहिब में दस फीट तक बर्फ जमी हुई है। एक जून को द्वार खुलने तक आस्था के पथ से पूरी बर्फ को हटाया जाना इतना आसान नहीं है, लिहाजा तीर्थयात्रियों को गुरुद्वारे तक पहुंचने के लिए लगभग तीन मीटर तक बर्फ की टनल से गुजरना पड़ेगा। कुएं साफ़ करने उतरे मजदूर, जहरीली गैस के कारण हो गई मौत सूत्रों से प्राप्त जानकारी के अनुसार हेमकुंड साहिब की तीर्थयात्रा आगामी एक जून से शुरू होगी। यात्रा मार्ग पर पड़ने वाले गुरुद्वारों में यात्रा की तैयारियां पूरे जोरशोर से चल रही हैं। बता दें फिलहाल हेमकुंड साहिब आस्था पथ अब भी तीन किलोमीटर तक बर्फ में ढका हुआ है। यहां सेना के जवानों द्वारा बर्फ हटाने का काम किया जा रहा है। राजस्थान में भी चली धूलभरी आंधी, बारिश के बाद अब गर्मी से राहत इसी के साथ हेमकुंड साहिब में अभी भी दस फीट तक बर्फ जमी होने से सेना के जवानों और सेवादारों को कड़ाके की ठंड में भी पसीना बहाना पड़ रहा है। हेमकुंड साहिब परिसर में बर्फ हटाने का काम भी जोरों से चल रहा है, लेकिन हेमकुंड क्षेत्र में लगातार मौसम खराब होने से यात्रा शुरू होने तक पूरी तरह से बर्फ हटाना मुश्किल बना हुआ है। इसे देखते हुए अब हेमकुंड गुरुद्वारे तक पहुंचने के लिए करीब तीन मीटर तक बर्फ को काटकर टनल बनाई जा रही है, जिससे गुजर कर तीर्थयात्री गुरुद्वारे में मत्था टेकने पहुंचेंगे। जम्मूतवी-अहमदाबाद एक्सप्रेस में संदिग्ध होने की सूचना, पुलिस ने की सर्चिंग मुरादाबाद में दर्दनाक सड़क हादसा, एक ही परिवार के छह लोगों की मौत केदारनाथ में हेलीकॉप्टर सेवाओं के लिए डीजीसीए की टीम करेगी हेलीपैडों में सुरक्षा मानकों की जांच