बांसगांव लोकसभा सीट: क्या जीत की हैटट्रिक लगा पाएगी भाजपा, या टूटेगा कमल का तिलिस्म ?

गोरखपुर: 2019 लोकसभा चुनाव का सियारी संग्राम अभी अपने चरम पर है. गोरखपुर जिले के अंतर्गत आने वाली बांसगांव लोकसभा सीट यूपी की 17 सुरक्षित सीटों में से एक है. 1962 से अभी तक बांसगाव लोकसभा सीट पर 14 लोकसभा चुनाव हो चुके हैं. इस लोकसभा सीट पर हुए पहले चुनाव में कांग्रेस के महादेव प्रसाद ने जीत हासिल की थी. वहीं, इस सीट पर 2004 में भी महावीर प्रसाद अंतिम बार कांग्रेस के सांसद रहे थे. इस सीट पर भाजपा पहली बार 1991 में जीती थी. वहीं, 2009 और 2014 के लोकसभा चुनावों में बीजेपी को पुनः विजयश्री मिली थी. भाजपा की तरफ से कमलेश पासवान यहां से वर्तमान सांसद हैं.

2014 के लोकसभा चुनावों में मोदी लहर में भाजपा ने उत्तर प्रदेश में 72 और सहयोगी घटक दल ने 1 सीट पर जीत दर्ज की थी. अनुसूचित जाति के लिए सुरक्षित बांसगाव लोकसभा सीट पर भाजपा के कमलेश पासवान ने जीत हासिल की थी. कमलेश ने बसपा के सदल प्रसाद को मात दी थी. भाजपा उम्मीदवार कमलेश को चुनाव में 4,17,959 वोट मिले थे. वहीं, सदल प्रसाद को 2,28,443 वोट हासिल हुए थे. कमलेश ने दूसरे नंबर पर रहे सदल प्रसाद को 1,89,516 वोटों से मात दे दी थी. सपा के गोरख प्रसाद 1,33,675 मत के साथ इस सीट पर तीसरे नंबर पर रहे थे. 

बांसगाव लोकसभा सीट पर वोटर्स की तादाद 17,60,090 है. इनमें से 9,80,235 पुरुष वोटर और 7,79762 महिला वोटर्स हैं. बांसगांव लोकसभा सीट पर सपा-बसपा-रालोद गठबंधन ने पूर्व राज्य मंत्री सदल प्रसाद को उम्मीदवार बनाया है. वहीं, भाजपा ने वर्तमान सांसद कमलेश पासवान पर एक बार फिर से मैदान में उतारा है. वहीं, कांग्रेस ने कुश सौरभ के नाम को फाइनल किया है. बांसगांव लोकसभा सीट पर चुनाव  2019 के सातवें और अंतिम चरण में 19 मई को वोट डाले जाएंगे.

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