मुंबई: NCP के नेता अजीत पवार ने शुक्रवार को कहा कि वह दो बार महाराष्ट्र के उपमुख्यमंत्री बने तथा दोनों मौकों पर गृह मंत्रालय चाहते थे, किन्तु उनकी पार्टी के 'सीनियरों' ने सोचा कि यदि उन्हें प्रमुख मंत्रालय मिल जाता है तो वो उनकी नहीं सुनेंगे। विधानसभा में विपक्ष के नेता अजीत पवार ने NCP की पुणे इकाई की मीटिंग के चलते यह टिप्पणी की। तत्पश्चात, एक पदाधिकारी ने कहा कि जब पार्टी भविष्य में सरकार का भाग बनेगी तो उन्हें गृह मंत्री बनना चाहिए। अजीत पवार ने मजाक में कहा, "पिछली बार, जब मुझे डिप्टी सीएम बनाया गया था, उस वक़्त 'मैंने बोला था कि मुझे गृह मंत्री बना दो, किन्तु वरिष्ठों ने सोचा कि यदि गृह मंत्री का पद मुझे दिया गया, तो मैं उनकी बात नहीं सुनूंगा।" आगे अजित पवार ने कहा कि बीते वर्ष अप्रैल में अनिल देशमुख के गृह मंत्री के पद से इस्तीफा देने के पश्चात् उन्होंने एक बार फिर पार्टी से उन्हें गृह मंत्रालय देने के लिए बोला, किन्तु उन्हें विभाग नहीं मिला। बाद में मीडिया से चर्चा करते हुए NCP नेता ने कहा कि पार्टी कार्यकर्ताओं को संबोधित करते हुए गृह मंत्रालय पर हल्के नोट में नजर रखने के बारे में टिप्पणी की थी। अजित पवार ने कहा कि हॉल में पार्टी कार्यकर्ताओं को उत्साहित करने के लिए जो सुस्त एवं थके हुए नजर आ रहे थे, मैंने मजाक में यह टिप्पणी की। इसके साथ ही राष्ट्रीय जांच एजेंसी (NIA) के छापे एवं देशभर में उसके 100 से ज्यादा नेता-कार्यकर्ताओं की गिरफ्तारी पर अजीत पवार ने कहा कि 12 से 15 प्रदेशों में गिरफ्तारी की गई और सबसे अधिक केरल-महाराष्ट्र में हुई। ऐसा लगता है कि गंभीर बातों को ध्यान में रखते हुए केंद्र सरकार ने PFI पर छापेमारी का निर्णय लिया। 'ग़जनी, गोरी, मुगलों ने भी हिन्दुओं की हत्या की, लेकिन..', ब्रिटेन में हिन्दू विरोधी हिंसा पर भड़के स्वामी अयोध्या: सीएम योगी के मंदिर पर शुरू हुई सियासत, भड़के अखिलेश यादव उद्धव गुट को मिली कामयाबी, कोर्ट ने सुनाया ये बड़ा फैसला