लेहः केंद्र सरकार द्वारा जम्मू-कश्मीर से विशेष दर्जा छीनने के बाद लद्दाख इन दिनों सुर्खीयों में है। सरकार ने जम्मू-कश्मीर के राज्य के दर्जे को खत्म कर जम्मू-कश्मीर और लद्दाख को दो अलग-अलग केंद्र शासित प्रदेशों में विभाजित कर दिया है। लद्दाख एक सुदूर जगह है जहां काफी ठंड पड़ता है इसलिए वहां रहना मुश्किल है। लद्दाख की कुल आबादी तीन लाख है। फिर भी यहां खेलों के लिए बेमिसाल जुनून है। यहां सबसे लोकप्रिय खेल आइस हॉकी है, जो आमतौर पर प्राकृतिक बर्फ पर दिसंबर के मध्य से लेकर फरवरी तक खेली जाती है। भारत में आइस हॉकी के लिए एकमात्र पूरे आकार का मैदान देहरादून में है, जो प्रदेश सरकार की मदद के अभाव में बंद हो गया है। ऐसे में भारतीय आइस हॉकी खिलाड़ियों के पास प्रैक्टिस के ‌लिए किर्गिस्तान, मलेशिया और अमेरिका जैसे देशों में जाने का ही विकल्प बचता है। हालांकि यह विकल्प जेब पर काफी भारी पड़ने वाला है। ऐसे में जबकि भारत की महिला आइस हॉकी टीम लद्दाख से ही आती है तो उसके लिए लद्दाख में दो महीने जमने वाली प्राकृतिक बर्फ पर अभ्यास करना फायदेमंद रहता है। इसी का नतीजा है कि टीम ने 2017 में एशिया के अहम टूर्नामेंट में न केवल दो मैच जीते, बल्कि बेहतरीन प्रदर्शन भी किया। लद्दाख में जब सर्दियों का आगाज होता है तो फुटबॉल या क्रिकेट जैसे खेल बंद हो जाते हैं। ऐसे में सभी आइस हॉकी का रुख करते हैं। लद्दाख विंटर स्पोर्ट्स क्लब के मुताबिक, यहां करीब 10 से 12 हजार लद्दाखी युवा हैं जो किसी न किसी रूप में आइस हॉकी खेलते हैं। लगभग हर साल जनवरी में नेशनल आइस हॉकी चैंपियनशिप का आयोजन किया जाता है। रवि शास्त्री का दोबारा कोच बनना लगभग तय FIFA WOrld कप Qualifiers : ये 35 खिलाड़ी प्रशिक्षण शिविर के लिए चुने गए न्यूजीलैंड के इस धाकड़ बल्लेबाज ने क्रिकेट को कहा अलविदा