कई माता-पिता के मन में यह सवाल होता है कि क्या ओट्स और केला साथ में खाने से बच्चों को टाइप 1 डायबिटीज़ का खतरा बढ़ सकता है। यह एक आम गलतफहमी है जो अक्सर चिंता का कारण बनती है। सच्चाई यह है कि ओट्स और केला खाने से टाइप 1 डायबिटीज़ का कोई खतरा नहीं है। टाइप 1 डायबिटीज़ क्या है?: टाइप 1 डायबिटीज़ एक ऑटोइम्यून स्थिति है, जिसमें शरीर की इम्युनिटी अग्न्याशय में इंसुलिन बनाने वाली कोशिकाओं पर हमला कर देती है। इससे शरीर में इंसुलिन का उत्पादन ठीक से नहीं हो पाता, जिससे ब्लड शुगर का स्तर बढ़ जाता है। यह बीमारी आमतौर पर बचपन या किशोरावस्था में होती है और इसके लिए कोई खास आहार या जीवनशैली जिम्मेदार नहीं होती। ओट्स और केले के फायदे: ओट्स और केले दोनों ही स्वास्थ्य के लिए बेहद फायदेमंद होते हैं। ओट्स में फाइबर की भरपूर मात्रा होती है, खासकर बीटा-ग्लूकन, जो दिल के लिए अच्छा होता है और पाचन में सहायता करता है। ये मैग्नीशियम, जिंक, और आयरन जैसे आवश्यक विटामिन और खनिजों से भी भरपूर होते हैं। केला पोटेशियम का बेहतरीन स्रोत है, जो दिल के स्वास्थ्य को बनाए रखने और उच्च रक्तचाप को नियंत्रित करने में मदद करता है। इसमें विटामिन बी6, विटामिन सी, और फाइबर होता है, जो पाचन तंत्र को स्वस्थ रखने में सहायक है। मिथक और सच्चाई: डॉक्टरों का कहना है कि ओट्स और केला खाने से डायबिटीज का खतरा बढ़ता है, यह एक गलत धारणा है। बच्चों को कार्बोहाइड्रेट और चीनी की सीमित मात्रा में सेवन करना चाहिए, लेकिन यह आवश्यक है कि उन्हें पौष्टिक आहार दिया जाए। ओट्स और केला जैसे खाद्य पदार्थ बच्चों के लिए बहुत फायदेमंद होते हैं, क्योंकि इनमें फैट और चीनी नहीं होती। इसलिए, माता-पिता को ओट्स और केले के सेवन को लेकर चिंता करने की कोई आवश्यकता नहीं है। ये दोनों खाद्य पदार्थ बच्चों के लिए सुरक्षित हैं और उनके स्वास्थ्य के लिए फायदेमंद हैं। सही मात्रा में इनका सेवन करके बच्चे स्वस्थ रह सकते हैं। 'राहुल गांधी आखिर आप किसको खुश करना चाहते हो?', अमित शाह का हमला क्या सच में अमिताभ को पार्टी करने से रोकती है जया केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने आतंकवाद को लेकर कही ये बात