सेल्फ डिसीप्लिन एक ऐसी चीज है,जो आपको कभी असंभव लगने वाली मंजिलों तक भी सहजता से ले जाकर खड़ा कर देता है। इसकी मदद से आप अपनी कमियां पहचानकर उनसे पार पाने की दिशा में पूरी एकाग्रता के साथ प्रयास करते हैं। इसलिए यदि आपको अपने सामने रखे जाने वाले लक्ष्य मुश्किल नजर आते हैं, तो सबसे पहले खुद में सेल्फ डिसीप्लिन लाने का प्रयास करें। यह सेल्फ डिसीप्लिन निर्धारित लक्ष्यों के रास्ते में आने वाली बाधाएं पार करने में मदद करेगा। कहां हैं कमजोर: सेल्फ डिसीप्लिन विकसित करने के लिए जरूरी है कि मौजूदा स्थितियों को स्वीकार करना सीखें, फिर चाहे वे कितनी ही पेचीदा क्यों न हों। रेखांकित करें कि आप किस-किस मामले में कमजोर हैं। अपनी कमजोरियां रेखांकित करने के बाद ही इन्हें दूर करने के बारे में विचार कर सकते हैं। कमजोरियां पता चलने पर खुद के लिए कठोर नियम तय कर सकते हैं। क्या है उपाय: कमजोरियां पता चलने के बाद अब आपको यह लिखना होगा कि किन-किन उपायों से इन कमियों को दूर किया जा सकता है? अपनी हर खामी या कमजोरी को दूर करने के लिए उसके उपाय सामने लिखें। सेल्फ डिसीप्लिन इस बात में है कि आपको इन कमियों को दूर करने के लिए तय किए गए उपायों पर अमल करना है। शुरू में तनाव होगा, पर घबराएं नहीं। सक्सेस चेक: सेल्फ डिसीप्लिन को प्रभावी बनाने के लिए यह जरूरी है कि आप अपने ही उठाए गए कदमों की समय-समय पर समीक्षा करते रहें। समय-समय पर जांच करते रहें कि आपके द्वारा तय किए गए कदम सही दिशा में जा रहे हैं या उनमें कुछ बदलाव की जरूरत है? इससे सही दिशा में बढ़ सकेंगे। ऑक्सफोर्ड की कोरोना वैक्सीन को इस देश ने दी मंज़ूरी, जल्द शुरू होगा टीकाकरण ब्रिगेडियर उस्मान की कब्र की मरम्मत कराएंगे भाजपा सांसद जफर इस्लाम, भारत-पाक युद्ध में हुए थे शहीद सुनील मंडल को मिली Y प्लस कैटेगरी की सुरक्षा, कुछ दिन पहले ही हुआ था कार पर हमला