इस्लामाबाद: पाकिस्तान के लोकसभा चुनाव में इमरान खान की तहरीक-ए-इंसाफ पार्टी ने बड़ी विपक्षी पार्टियों को पछाड़ते हुए बड़ी जीत दर्ज की है. लेकिन पाकिस्तान में चुनावी नतीजे आने के बाद भी इमरान खान की राह पीएम पद के लिए आसान नहीं लग रही है. विपक्षी दलों ने इमरान खान पर चुनाव में धांधली के आरोप लगाते हुए दोबारा चुनाव की मांग रखी है. इसके लिए विपक्षी दलों ने इस्लामाबाद में एक बैठक रखी थी, जिसमे नवाज़ शरीफ की पार्टी PML (N) के कार्यकर्ता भी मौजूद थे, हालांकि बिलावल भुट्टो की PPP ने इसमें हिस्सा नहीं लिया. इमरान खान: 11 तथ्यों में जानें पाक के नए वजीर-ए-आज़म के बारे में बैठक में शामिल हुए पूर्व प्रधानमंत्री नवाज़ शरीफ के भाई शाहबाज़ ने कहा है कि फ़िलहाल संसद का बहिष्कार करने के फैसले पर विचार नहीं किया गया है, लेकिन अगर स्थितियां ना बदली तो इस तरफ कदम उठाए जा सकते हैं. वहीं मजलिस-ए-अमाल के अध्यक्ष मौलाना फजलुर रहमान ने एक प्रेस वार्ता में कहा है कि हम दोबारा चुनाव की मांग करेंगे और जरुरत पड़ी तो इसके लिए आंदोलन भी किया जाएगा क्योंकि ये सच्चा जनादेश नहीं है. जेल से नवाज़ की आवाज़, चोरी का जनादेश कमजोर करेगा देश आपको बता दें कि पाकिस्तान चुनाव में किसी पार्टी को बहुमत नहीं मिल सका है, इमरान खान को भी गठबंधन करके ही सरकार बनानी पड़ेगी. लेकिन विपक्षी दलों का इमरान के विरोध में एकजुट होना इमरान की मुश्किलें बढ़ा सकता है. क्योंकि अगर नवाज़ और बिलावल की पार्टियां अन्य को साथ में लेकर बहुमत साबित कर देती है तो इमरान की जीत पर भी पानी फिर सकता है. खबरें और भी:- 15 एकड़ में बन रहा जैश का नया आतंकी सेण्टर चुनावों में आरोपों के बीच बोले इमरान जाँच को तैयार पति इमरान खान के समर्थन में बोलीं पत्नी बुशरा मानेका