नई दिल्ली: विदेशों से हथियार खरीदने के मामले में भारत अब भी शीर्ष पर बना हुआ है. बीते कुछ वर्षों की तुलना में हथियार खरीदी में गिरावट अवश्य देखने को मिली है, फिर भी भारत टॉप पर बना हुआ है. स्टॉकहोम इंटरनेशनल पीस रिसर्च इंस्टीट्यूट (SIPRI) की एक रिपोर्ट में सोमवार (13 मार्च) को यह जानकारी दी गई है. वहीं, रूस से युद्ध लड़ रहा यूक्रेन 2022 में हथियारों की खरीदी में तीसरे पायदान पर रहा है. रिपोर्ट के अनुसार, 2013-17 और 2018-22 के भारत की तरफ से हथियारों के आयात में 11 फीसदी की गिरावट आई थी, किन्तु फिर भी वह विश्व का शीर्ष आयातक बना रहा. भारत ने बीते कुछ वर्षों में रक्षा निर्माण के क्षेत्र में खुद की आत्मनिर्भरता हासिल करने पर जोर दिया है. रिपोर्ट के अनुसार, हथियारों के आयात में भारत की हिस्सेदारी विगत पांच वर्षों में सर्वाधिक 11 फीसदी रही है. दूसरे स्थान पर सऊदी अरब (9.6 फीसदी), तीसरे नंबर पर कतर (6.4 फीसदी), चौथे नंबर पर ऑस्ट्रेलिया (4.7 फीसदी) और पांचवें नंबर पर चीन (4.7 फीसदी) का नाम है. ‘SIPRI’ ने अपनी गत वर्ष की रिपोर्ट में कहा था कि 2012-16 और 2017-21 के बीच भारत की तरफ से हथियारों के आयत में 21 फीसदी की गिरावट आई है, किन्तु देश अभी भी विश्व का सबसे बड़ा हथियार आयातक बना हुआ है. रिपोर्ट में कहा गया है कि आयात में गिरावट के पीछे के दो वजह है. पहला स्थानीय स्तर पर इनका निर्माण और दूसरा जटिल खरीदी प्रक्रिया. SIPRI की तरफ से जारी नए डेटा के मुताबिक, हथियारों के एक्सपोर्ट के मामले में अमेरिका का वर्चस्व कायम है. बीते पांच वर्षों में अमेरिका दुनिया का सबसे बड़ा सैन्य हथियार सप्लायर बना हुआ है. पूरी दुनिया में होने वाले हथियारों के कुल एक्सपोर्ट में 40 फीसदी अकेले अमेरिका ने किया है. 16 फीसदी के साथ रूस दूसरे स्थान पर है. चैत्र नवरात्री पर यूपी के हर जिले में होगा दुर्गा सप्तशती का पाठ और देवी जागरण.., CM योगी का आदेश Bhopal Gas Tragedy: क्या पीड़ितों को मिलेगा 7844 करोड़ मुआवज़ा ? 'सुप्रीम' फैसला आज शराब घोटाले के बाद अब 'जासूसी कांड' में घिरी केजरीवाल सरकार, कांग्रेस की मांग पर LG ने बिठाई जांच