दुनिया के कई देशों के दबाव के आगे झुकते हुए विश्व स्वास्थ्य संगठन (डब्ल्यूएचओ) कोरोना महामारी को रोकने में अपनी भूमिका की स्वतंत्र जांच के लिए तैयार हो गया है. भारत समेत दुनिया के करीब 120 देशों ने डब्ल्यूएचओ के साथ ही चीन की घेराबंदी शुरू की थी. यूरोपीय यूनियन के नेतृत्व में इन देशों की तरफ से डब्ल्यूएचओ की भूमिका की जांच और वायरस के स्त्रोत का पता लगाने की मांग को लेकर डब्ल्यूएचओ की प्रमुख संस्था विश्व स्वास्थ्य सभा (डब्ल्यूएचए) की बैठक में प्रस्ताव पेश किया गया था. इस महामारी से वैश्विक अर्थव्यवस्था को गहरी चोट पहुंची हैं वहीं, तीन लाख से ज्यादे लोगों की अब तक जान भी जा चुकी है. आपकी जानकारी के लिए बता दे कि सोमवार को शुरू हुई डब्ल्यूएचओ की निर्णय लेने वाली संस्था (डब्ल्यूएचए) की दो दिवसीय 73वीं बैठक में डब्ल्यूएचओ प्रमुख टेड्रोस एधनोम घेब्रेयेसस ने एक रिपोर्ट की तरफ संकेत करते हुए कहा कि वह कोविड-19 से निपटने में संगठन की भूमिका की जल्द से जल्द से स्वतंत्र जांच शुरू करेंगे. इस महामारी को लेकर डब्लूएचओ की भूमिका की जांच करने वाली पर्यवेक्षी सलाहकार निकाय की पहली रिपोर्ट सोमवार को प्रकाशित हुई है. 11 पन्नों की रिपोर्ट में सवाल उठाया गया है कि क्या डब्ल्यूएचओ ने दुनिया को कोविड-19 के प्रकोपों के प्रति सही समय पर सचेत किया था और क्या सदस्य देशों को यात्रा सलाह प्रदान करने में डब्ल्यूएचओ की भूमिका का आकलन करने की आवश्यकता है. अगर आपको नही पता तो बता दे कि विश्व स्वास्थ्य सभा (डब्ल्यूएचए) की दो दिवसीय बैठक में कोरोना वायरस के स्त्रोत का पता लगाने के लिए जांच की मांग की गई. अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप बार-बार इसकी जांच की मांग करते रहे हैं कि चीन के वुहान शहर में यह वायरस कैसे पैदा हुआ और उसके बाद चीन ने उसे रोकने के लिए क्या कार्रवाई की. अमेरिकी राष्‍ट्रपति ने विश्व स्वास्थ्य संगठन की मदद भी रोक की दी थी. डब्ल्यूएचए की बैठक में 27 देशों के संगठन यूरोपीय यूनियन की तरफ से मसौदा प्रस्ताव पेश किया गया है, जिसका कई देशों ने समर्थन किया है. पूर्व केंद्रीय मंत्री यशवंत सिन्हा गिरफ्तार, राजघाट पर दे रहे थे धरना दिल्ली में अरबों रुपए की जमीन पर रोहिंग्याओं का अवैध कब्ज़ा, आप MLA अमानतुल्लाह पर संरक्षण का आरोप Zee News के दफ्तर पर कोरोना का अटैक, 28 कर्मचारी निकले पॉजिटिव