नई दिल्ली: वास्तविक नियंत्रण रेखा (LAC) के पूर्वी क्षेत्र में भारत और चीनी सेना में बढ़ते टकराव के बीच भारतीय वायु सेना (IAF) अगले महीने की शुरुआत में अरुणाचल प्रदेश, असम और अन्य पूर्वोत्तर राज्यों में लड़ाकू विमानों, हेलीकॉप्टरों, अन्य विमानों और ड्रोन के साथ एक मुख्य हवाई युद्ध अभ्यास करेगी। यह युद्धाभ्यास इसलिए भी अहम है, क्योंकि निरंतर तीसरी सर्दियों के लिए चीन ने बॉर्डर पर 50 हजार से अधिक सैनिकों और भारी मात्रा में हथियारों की तैनाती जारी रखी है। हाल ही में चीनी राष्ट्रपति शी जिनपिंग ने भी PLA सैनिकों को संबोधित करते हुए बॉर्डर पर मुस्तैद रहने की हिदायत दी थी। आगामी 1 फरवरी से 5 फरवरी तक एयरफोर्स का यह युद्धाभ्यास चीन को करारा जवाब तो होगा ही, साथ ही इसे शक्ति प्रदर्शन के रूप में भी देखा जा रहा है। जानकारी के अनुसार, यह युद्धाभ्यास हासीमारा, तेजपुर और छाबुआ जैसे एयरपोर्ट्स से किया जाएगा। बता दें कि, इंडियन एयरफोर्स ने 9 दिसंबर को अरुणाचल प्रदेश के तवांग सेक्टर के यांग्त्से में भारतीय और चीनी सैनिकों के बीच झड़प के फ़ौरन बाद पूर्वोत्तर में दो दिवसीय अभ्यास भी किया था। आगामी एक फरवरी से फिर आरंभ होने जा रहा यह अभ्यास बड़े स्तर पर होगा और इसमें सी-130जे 'सुपर हरक्यूलिस' विमान, चिनूक हेवी-लिफ्ट और अपाचे सहित कई किस्म के अत्याधुनिक हेलीकॉप्टर शामिल होंगे। गणतंत्र दिवस: अमृतसर इंटरनेशनल एयरपोर्ट पर रेड अलर्ट, आतंकी हमले को लेकर सुरक्षा एजेंसियां सतर्क 'बंगाल में रोहिंग्या डाल रहे वोट, ममता दे रहीं संरक्षण..', शुभेंदु अधिकारी ने केंद्र सरकार से की यह मांग बिना चुनाव के कैसे प्रधानमंत्री बन गए थे नेहरू, किसने दिलवाई थी शपथ ?