वाशिंगटन. साइबर हैकिंग की समस्या देश ही नहीं बल्कि पूरी दुनिया में बहुत तेजी से बढ़ रही है. पिछले कुछ सालों में ऐसे मामले बहुत ज्यादा बढ़ गए है जिनमे कोई हैकर किसी व्यक्ति या संस्थान के नेटवर्क को हैक कर के उस में से महत्वपूर्ण जानकारी चुरा लेता है या फिर उनका पैसा उड़ा लेता है. ऐसा ही एक मामला कुछ समय पहले अमेरिका में भी सामने आया था लेकिन अब इस मामले में अमेरिका की एक अदालत ने इस मामले के आरोपों को एक ऐसी सजा सुनाई है कि अब वो सायद अपनी जिंदगी में कभी हैकिंग करने के बारे में नहीं सोचेगा. गणतंत्र दिवस परेड में शामिल नहीं होंगे ट्रंप, व्हाइट हाउस ने की आधिकारिक घोषणा दरअसल अमेरिका में रहें वाले भारतीय मूल्य के एक व्यक्ति ने कुछ दिनों पहले ही अमेरिका के एक अग्रणी विश्वविद्यालय के कंप्यूटर नेटवर्क में सेंध मार कर इस विश्वविद्यालय की कई महत्वपूर्ण जानकारियां हासिल कर ली थी. इसके साथ ही इस व्यक्ति पर इन जानकारियों में छेड़छाड़ करने और इनका दुरूपयोग करने का आरोप भी लगा है. लेकिन अब अमेरिका की एक उच्च अदलात ने इस व्यक्ति को इस आरोप में 86 लाख डॉलर याने करीब 64 करोड़ रुपयों का हर्जाना देना पड़ा था. पिट्सबर्ग गोलीकांड: राष्ट्रपति ट्रम्प बोले- मीडिया ही है लोगों का असली दुश्मन अमेरिकी मीडिया के मुताबिक अमेरिका के विश्वविद्यालय के कंप्यूटर नेटवर्क में सेंध मारने वाले इस व्यक्ति का नाम पारस झा है. यह 22 वर्षीय व्यक्ति भारतीय मूल का है और पिछले कई सालों से अमेरिका के न्यूजर्सी में रह रहा है. इस व्यक्ति ने हाल ही में अमेरिका की एक अदलात में अपना जुर्म कबूला है जिसके बाद अदालत ने उसे यह सजा सुनाई है. ख़बरें और भी पुरुषों के साथ सिर्फ फिल्म देखकर लड़कियां कमा रही लाखों रूपए लंदन में दिखी दीवाली की धूम, तैयारी में जुटे सभी लोग अमेरिका: सीमा पर शराणार्थियों को रोकने के लिए अमेरिका का बड़ा अभियान, 5000 से ज्यादा सैनिक तैनात अमेरिका : राष्ट्रपति ट्रम्प की मुश्किलें बड़ी, कई निवेशकों ने किया मुकदमा दर्ज अमेरिका के पार्क में 800 फ़ीट ऊंचाई से गिरकर भारतीय कपल की हुई मौत