इंदौर: समर कार्नीवाल को अविलम्ब हटाने के निर्देश, IDA ने आयोजक समिति को ब्लैक लिस्ट में डाला

इंदौर: इंदौर विकास प्राधिकरण ने विजय नगर चौराहे पर जारी समर कार्नीवाल को अविलम्ब हटाने के निर्देश जारी दिए हैं। साथ ही आयोजक कम्पनी यूनिटी ऑफ पीपुल यू मंडल समिति को ब्लैक लिस्ट कर दिया है। आरोप है कि, आयोजक लीज रेंट कि चोरी कर मेले का संचालन कर रहे थे। रिपोर्ट के अनुसार, 5000 वर्ग फीट की अनुमति लेने के बाद 63 हजार वर्ग फीट से अधिक जमीन पर मेले का आयोजन किया जा रहा था।

रिपोर्ट के मुताबिक, IDA ने मेला समिति को एक आदेश जारी करते हुए बताया है कि विजय नगर चौराहे पर स्थित बिजनेस बिजनेस पार्क के पास प्राधिकारी की जमीन, राष्ट्रीय समिति महोत्सव के लिए 26 तारीख से लेकर 7 जुलाई तक के लिए 5000 वर्ग फीट आवंटित करने के लिए आग्रह किया गया था। जिसके बाद 43 दिनों के लिए कुल 2,15,000 किराए पर उक्त भूमि आवंटित की गई थी। जिसमें टाइपिंग मिस्टेक के चलते 5000 वर्ग फीट कि जगह पर 5000 वर्ग मीटर क्षेत्र अंकित हो गया था, जिसके संज्ञान में आने के बाद कार्यपालन यंत्री द्वारा त्रुटि सुधार करते हुए 5000 वर्ग फीट क्षेत्र आवंटित किया गया था।

अभी तक भूमि के इस्तेमाल को लेकर IDA द्वारा 25 लाख से भी अधिक का बिल आयोजन समिति को थमाया है। हालाँकि, अभी तक समिति द्वारा इस बिल का भुगतान नहीं किया गया है। जिसके बाद आयोजन समिति को तत्काल प्रभाव से भूमि खाली करने के दिशा निर्देश दिए गए हैं। साथ ही बकाया राशि नहीं चुकाने पर वसूली की चेतावनी भी दी गई है। 

क्या है मामला:- यह मामला उस समय सामने आया जब, इंदौर विकास प्राधिकरण ने 5 जून को आयोजक संस्था को GST समेत 27 लाख रुपए 3 दिन में जमा करने का नोटिस दिया। 7 जून 2023 को आयोजक प्राधिकरण पहुंचे और कहा उन्हें किसी प्रकार नोटिस प्राप्त नहीं हुआ। संपदा अधिकारी ने आयोजकों को 7 जून को ही सूचना पत्र सौंपा और 3 दिनों में सम्पूर्ण राशि जमा करने के लिए कहा। वहीं, आयोजकों ने संकेत दिए हैं कि वे इस मामले को लेकर उच्च न्यायालय तक लेकर जाएंगे, क्योंकि प्राधिकरण ने उन्हें 5000 स्क्वेयर मीटर की ही इजाजत दी थी। इस मामले में संपदा शाखा का कहना है कि टाईपिंग मिस्टेक के चलते 5000 स्क्वेयर फीट की जगह स्क्वेयर मीटर लिख दिया गया था। जब मामला सामने आया तो प्राधिकरण ने रोज़ का लीज रेंट करीब 65,000 हजार रुपए तय किया।

वहीं, मेला आयोजक इस मामले को विश्व हिन्दू परिषद (VHP) और राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ (RSS) के बड़े नेताओं के पास भी ले गए हैं। राज्य शासन के एक निगम मंडल अध्यक्ष भी आयोजकों का पक्ष ले रहे हैं। उधर, प्राधिकरण अध्यक्ष का स्पष्ट कहना है कि मेला भी जल्द बंद कराया जाएगा और बल्कि सम्पूर्ण राशि भी वसूल की जाएगी। इस मामले पर सूत्रों का कहना है कि, जमीन उपयोग की इजाजत लेकर अधिक जमीन पर मेले लगाने का खेल काफी पुराना है। इंदौर में विजयनगर, दशहरा मैदान जैसी जगहों पर बड़े मेले और धार्मिक आयोजन अक्सर होते रहते हैं। जिसमे आयोजक छोटी-मोटी रसीद कटाकर खुद मुनाफा उठाते रहते हैं।  

मौजूदा समर कार्निवल में भी 30 रुपए प्रति व्यक्ति प्रवेश शुल्क लिया जा रहा है। कॉर्निवाल की अन्य गतिविधि की टिकट अलग है। अनुमान के अनुसार, हर दिन शाम 4 बजे से रात 11 बजे तक 3000 से ज्यादा दर्शक आ रहे हैं। पार्किंग शुल्क भी अलग से वसूला जा रहा है। कॉर्निवाल में झूले, कोलम्बस नाव, टोराटोरा, ड्रेगन ट्रेन, ब्रेक डांस, सेल्फी झोन, चाट चौपाटी भी लगाए गए हैं, जिनसे आयोजकों द्वारा बड़ी रकम ली गई है। भक्तियुक्त माहौल बनाने के लिए आयोजकों ने खाटूश्यामजी का दरबार भी सजाया है, जिससे बड़ी संख्या में लोग समर कार्निवल में पहुंच रहे हैं। 

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