दिल्ली : पकौड़ा न हुआ देश की राजनीती का जिन्न हो गया जो निकला और भूचाल मच गया. आजकल की सुर्खियों में छाया पकौड़ा जवाहरलाल नेहरू यूनिवर्सिटी के दो छात्रों के जी का जंजाल बन गया है. जवाहरलाल नेहरू यूनिवर्सिटी के चार छात्रों को पकौड़े से खिलवाड़ करना महंगा पड़ गया है. दरअसल ये छात्र प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के विरोध में पकौड़े बेच रहे थे जिसको लेकर जेएनयू भी एक बार फिर चर्चा में है. जेएनयू ने अपने चार छात्रों पर पकौड़ा तलने को अनुशासनहीनता मानते हुए 20-20 हजार रुपए का जुर्माना लगा दिया है और साथ ही एक स्टूडेंट को हॉस्टल से भी निकाल दिया है. सजा यही ख़त्म नहीं हुई अन्य तीन छात्रों को भी हॉस्टल बदलने का फरमान सुना दिया गया है. गौरतलब है कि पीएम मोदी ने एक इंटरव्यू में पकौड़े बेचने को रोजगार का नाम दे दिया था, उसके बाद तो मानों देश में पकौड़ा क्रांति ने जन्म ले लिया जहा विपक्ष इसे लगातार मुद्दे के रूप में उपयोग कर रहा है वही बीजेपी इसके पक्ष में तर्क दे रही है. इसी बीच एनएसयूआई से जुड़े जेएनयू के छात्रों ने भी बहती गंगा में हाथ धोने कि कोशिश की जो फ़िलहाल उन्हें बहुत भारी पड़ रही है. पूर्व मुख्यमंत्री की नज़र में पकौड़ा बनाना एक कला मोदी को किसने कहा चाय-पकोड़े वाला ? देश की राजनीति पर छाया 'पकौड़ा'