नई दिल्ली : 27 वर्षीय जेएनयू छात्र कृष की आत्महत्या का मामला गरमाते जा रहा है. इस मामले में पुलिस को अभी तक कोई सुसाइड नोट बरामद नही हुआ है. वही पुलिस सूत्रों के मुताबिक वह निजी कारणों को लेकर अवसाद में था जबकि उसके दोस्तों ने उसका फेसबुक पोस्ट साझा किया जिसमें उसने एमफिल और पीएचडी दाखिले में कथित भेदभाव का आरोप लगाया था. बता दे जब दिल्ली में सभी लोग सोमवार को होली के जश्न में डूबे हुए थे. वही दिल्ली में जवाहरलाल नेहरू विश्वविद्यालय के एक छात्र ने फांसी लगाकर खुदकुशी कर ली. बताया जा रहा है कि मुनिरका के मकान नंबर 196 में उसकी लाश पंखे से लटकी मिली है. सोमवार शाम को 5 बजकर 5 मिनट पर पुलिस कंट्रोल रूम को एक कॉल आई, जिसमें कहा गया कि एक लड़के ने खुद को कमरे में बंद कर लिया है. मौके पर पुलिस और क्राइम ब्रांच की टीम पहुंची और दरवाजे को तोड़ा गया. कमरे का दरवाजा तोड़कर पुलिस अंदर दाखिल हुई तो देखा कि सामने 25 वर्षीय युवक की लाश छत के पंखे से लटकी हुई थी. मृतक छात्र का नाम रजनी कृष बताया जा रहा है. फौरन मौके पर क्राइम ब्रांच, फोरेंसिक टीम और पुलिस फोटोग्राफर को बुलाकर कमरे की जांच पड़ताल शुरू की गई. पुलिस को पता चला कि मृतक कृष जेएनयू में एम.फिल का छात्र था. दोपहर के वक्त वह अपने दोस्त के घर आया था. खाना खाने के बाद उसने अपने दोस्त से कहा कि वह सोने जा रहा है. तब वह उस कमरे में गया और कमरा अंदर से बंद कर लिया. उसके बाद उसे दोस्तों ने उठाने के लिए आवाज लगाई और दरवाजा पर दस्तक दी लेकिन वह बाहर नहीं आया. परेशान होकर उसके दोस्त ने पुलिस कंट्रोल रूम पर फोन करके सूचना दी. अभी तक पुलिस को इस वारदात से जेएनयू का कोई संबंध नजर नहीं आ रहा है. पुलिस के मुताबिक मृतक छात्र अपने कुछ व्यक्तिगत मामलों को लेकर डिप्रेशन में था. पुलिस अब इस मामले की गंभीरता से जांच पड़ताल कर रही है. आपको बता दे कि छात्र रोहित वेमुला की आत्महत्या के बाद हुए आंदोलन में भी सक्रिय था. रजनी कृष नामक यह छात्र रोहित वेमुला की आत्महत्या के बाद हुए आंदोलन में भी सक्रिय था. रजनी कृष ने अपनी आत्महत्या से पहले फेसबुक पर एक पोस्ट लिखा है. इस पोस्ट में उसने लिख है, ‘समानता से इंकार सभी चीजों से इंकार है. एम.फिल/पीएचडी के नामांकन में बराबरी का मौका नहीं दिया जाता है. वाइवा यानी मौखिक परीक्षा में कोई बराबरी नहीं है. प्रो. सुखदेव थोराट की सिफारिशों को लागू नहीं किया जा रहा है. छात्रों को प्रशासनिक भवन पर विरोध-प्रदर्शन करने से रोका जा रहा है. हाशिए के लोगों को शिक्षा देने से वंचित किया जा रहा है. बच्चे की रोने की आवाज सुनकर पति उठा तो कमरे में पत्नी इस हालात में मिली पत्नी JNU के छात्र ने फांसी लगाकर की आत्महत्या कॉपी में लिखा- अम्मा मुझे माफ़ कर देना, फिर इस लड़की ने किया ऐसा काम