ऐ सर्द सर्द रात मुझे बीवी चाहिए करनी है दिल की बात मुझे बीवी चाहिए उलझी हुई फ़िराक़ की रातों के दरमियाँ तनहा है मेरी जात मुझे “बीवी ” चाहिए बचपन की ज़िद नहीं जवानी की बात है ऐ मेरे नासमझ बाप मुझे बीवी चाहिए चेहरे से बेरुखी का नक़ाब उतार दो अब मान जाओ मेरी बात मुझे बीवी चाहिए देखी है मैंने दुल्हन मुझे बारात ले के जाना है कर दी है मैंने अपने मन की बात मुझे बीवी चाहिए. दिल से दिल लगा कर भी देख मेरी याद में आँसू बहाकर भी देख , SMS क्या CALL भी करेंगे , एक बार मेरे मोबाइल का बिल चुका कर तो देख. आज कुछ शर्माए से लगते हो सर्दी के कारण कंपकंपाये से लगते हो चेहरा आपका खिल उठा है लगता है हफ़्तों के बाद नहाये लगते हो. क्या मौसम आया है हर तरफ पानी ही पानी लाया है एक जादू सा छाया है तुम घर से बाहर मत निकलना वरना लोग कहेंगे बरसात हुई नहीं और मेंढक निकल आया है. हम आज भी दिल का आशियाना सजाने से डरते है बागों में फूल खिलाने से डरते है हमारी एक पसंद से टूट जाएंगे हज़ारो दिल इसलिए हम आज भी Girl Friend बनाने से डरते है. जुल्फों में फूलो को सजा के आई है चेहरे से नक़ाब उठा के आई है किसी ने पूछा आज बड़ी खूबसूरत लग रही हो मैंने कहा शायद आज नहा के आई है. अपने कुत्ते को स्टाइलिश बनाने के लिए ये खर्च करते है लाखो डॉलर्स घर की गुलाबी रौनक रूह अफ़ज़ा सिर्फ शरबत नहीं दवाई भी है... इस कारण आने लगे हैं महिलाओं के चेहरे पर अनचाहे बाल