चंडीगढ़: हरियाणा के बहादुरगढ़ के अंतर्गत आने वाले कसार गाँव के 42 वर्षीय मुकेश को जिंदा जलाने के मामले में पुलिस मुख्य आरोपित कृष्ण को अरेस्ट कर चुकी है। अब तक की तफ्तीश से यह बात सामने आई है कि कुछ प्रदर्शनकारियों ने मुकेश के साथ शराब पी और फिर उसे जिंदा आग के हवाले कर दिया। मुकेश के परिवार वालों को जब इसकी सूचना मिली तो वे उसे अस्पताल ले गए, किन्तु उसकी जान नहीं बचाई जा सकी। हालाँकि, मरने से पहले मुकेश का एक वीडियो बनाया गया था, जिसमें वह आरोपितों के नाम ले रहा है। बता दें कि यह घटना बुधवार (16 जून 2021) रात की है। मुकेश की पत्नी रेणु का इस घटना के बाद से गहरे सदमे में है। मीडिया से बातचीत में वह बार-बार एक ही सवाल दोहराती हैं कि अब उनका और उनके 10 साल के बेटे का क्या होगा? ग्रामीणों ने प्रशासन को इस मामले में सात दिन का वक़्त देते हुए एक ज्ञापन सौंपा है, जिसमें पीड़ित परिवार को आर्थिक सहायता देने की भी माँग की गई है। उस दिन की वारदात को लेकर पूछे जाने पर रेणु बताती हैं कि मुकेश शाम के 5 बजे के करीब घर से निकले थे। वह अपना मोबाइल भी साथ नहीं ले गए थे।रेणु का कहना है कि, “वे 5 बजे घर से निकले तो सब कुछ सही था। कोई विवाद कुछ नहीं था। उन्होंने कहा था खाना बनाकर रखना मैं जल्दी आ जाऊँगा। मैंने कहा कि अपना फोन लेकर जाइए तो कहा कि नहीं, मैं जल्दी आ जाऊँगा।” ग्रामीणों और परिवार वालों का दावा है कि सरकार को बदनाम करने के इरादे से कथित किसान प्रदर्शनकारियों ने ‘शहीद’ होने के नाम पर नशे में मुकेश को बहलाया-फुसलाया होगा। रेणु भी कहती हैं, ''मुकेश वहाँ गए तो वो लोग बैठाए होंगे। दारू पिलाए होंगे। पेट्रोल छिड़कर माचिस लगा दिए। बहुत बुरी तरह जला दिए उसको।'' रेणु यह भी दावा करती हैं कि वहां बैठे तमाम किसान नशे में रहते हैं और उल्टा-सीधा खाते रहते हैं। लोकसभा सचिवालय के योग दिवस कार्यक्रम में सांसदों को ऑनलाइन संबोधित करेंगी प्रज्ञा ठाकुर पेट्रोल-डीजल की कीमतों में आज नहीं हुआ कोई बदलाव, लेकिन इन राज्यों में 108 तक जा पहुंचा दाम राष्ट्रीय मानवाधिकार आयोग करे बंगाल हिंसा और पलायन की जांच - कोलकाता हाई कोर्ट