महामारी कोरोना वायरस संक्रमण को फैलने से रोकने के लिए कर्नाटक राज्य चुनाव आयोग ने ग्राम पंचायत चुनावों को स्थगित कर दिया है. राज्य की 6,025 पंचायतों में से 5,800 के सदस्यों का कार्यकाल जून और अगस्त 2020 के बीच समाप्त हो जाएगा. वर्तमान स्थिति को 'असाधारण परिस्थिति' मानते हुए, चुनाव आयोग ने चुनावों को अस्थायी रूप से स्थगित करने का निर्णय लिया. विपक्ष ने चुनाव न होने की स्थिति में विरोध प्रदर्शन करने की धमकी दी है. समाप्ति के करीब पहुंचा लॉकडाउन 4, खुल सकता है भारत अपने बयान में चुनाव आयोग ने कहा कि स्थिति की समीक्षा के बाद चुनाव कब होगा, इस पर निर्णय लिया जाएगा. चुनाव स्थगित करने का फैसला लेने से पहले, आयोग ने जिलों में स्थिति पर उपायुक्तों से रिपोर्ट मांगी थी. डीसी की रिपोर्टों के आधार पर आयोग इस निष्कर्ष पर पहुंचा कि जिला स्तर पर अधिकारी कोविड-19 महामारी से लड़ने के उपाय करने में तैनात हैं और उन्हें पर्याप्त कर्मचारी आवंटित करना, चुनाव के लिए परिवहन व्यवस्था करना और भी मुश्किल हो सकता है. ऐसे में कानून और व्यवस्था को बनाए रखना मुश्किल हो सकता है. बारिश ने गर्मी में फैलाई ठंडक, जनता को मिली राहत इसके अलावा आयोग ने यह भी कहा कि वायरस के प्रसार को रोकने के लिए आवश्यक 'शारीरिक दूरी' को बनाए रखना चुनावों के दौरान मुश्किल हो सकता है, क्योंकि राजनीतिक दलों के सदस्यों, मतदाताओं और यहां तक कि अधिकारियों को भी मतदाता सूची तैयार करने, मतदान के दौरान और मतगणना के दौरान एकत्र होना पड़ता है. केंद्रीय गृह मंत्रालय (एमएचए) ने सभी राज्यों को दिशानिर्देश जारी किए हैं कि वे सोशल डिस्‍टेंसिंग बनाए रखने और वायरस के प्रसार को रोकने के लिए एक स्थान पर बड़ी संख्या में लोगों को इकट्ठा करने से रोकने सहित कई उपाय करें. ऐसे में ग्राम पंचायत करना गृह मंत्रालय के निर्देशों की अवेहलना होगी. लॉकडाउन में यह काम कर रही हैं आलिया भट्ट ममता बनर्जी के मंत्री सुजीत बोस निकले कोरोना पॉजिटिव, होम क्वारंटाइन होने की सलाह डोनाल्ड ट्रम्प का बड़ा बयान, कहा- चीन के साथ तनाव को लेकर अच्छे मूड में नहीं हैं पीएम मोदी