नई दिल्‍ली: जम्‍मू और कश्‍मीर के कठुआ में आठ साल की बच्‍ची से हुए गैंगरेप मामले में पीड़ित पक्ष की वकालत कर रही वकील दीपिका राजावत को परिवार ने केस से हटा दिया है। जानकारी के अनुसार बता दें कि इसके पीछे उन्‍होने उनका कोर्ट में सुनवाई के दौरान उपस्थित न रहना बताया गया है। वहीं पीड़ित परिवार का कहना है कि पठानकोट की अदालत में सुप्रीम कोर्ट के निर्देश पर रोजाना सुनवाई हो रही है। लेकिन व‍कील दीपिका राजावत पिछले पांच महीनों में महज दो या तीन बार ही कोर्ट में उपस्थित हुई हैं। दुनिया में फैले आतंकवाद की मूल जड़ है पाकिस्तान- पीएम मोदी इसके साथ ही पीड़ित परिवार के इन आरोपों पर वकील दीपिका राजावत का कहना है कि वह ब्‍लेम गेम में नहीं पड़ना चाहती हैं। उन्‍होने उल्‍टा पीड़ित बच्‍ची के पिता पर ही आरोप लगाया है, उनका कहना है कि बच्‍ची का पिता ही कोर्ट में उपस्थित नहीं हुआ और उन्‍होने मेरे खिलाफ ही आवेदन दे दिया है। वहीं दीपिका का कहना है कि उनके जीवन में ऐसी घटना पहली बार हुई है। इसके अलावा उन्होने कहा कि उनकी क्रेडिबिलटी पर जो सवाल उठाए जा रहे हैं वो गलत हैं। शिवसेना ने केंद्र पर कसा तंज, कहा राफेल बोफोर्स घोटाले का बाप पर इस बाप का कोई सबूत नहीं गौरतलब है कि कठुआ रेप मामला देश में भी चर्चित मामला है। वहीं वकील दीपिका ने कहा कि अपनी और परिवार की सुरक्षा के लिए वह सुप्रीम कोर्ट से सुरक्षा की मांग करेंगी। उन्होने कहा कि मैं इस बारे में सुप्रीम कोर्ट को बताऊंगी और वे इस समय बहुत बुरा महसूस कर रही हैं। उन्होने कहा, आप मेरी दुर्दशा की कल्पना कर सकते हैं, लेकिन मैं न्याय के साथ खड़ी हूं और हम सब आठ साल की बच्ची के लिए न्याय चाहते हैं। खबरें और भी शिवसेना और विहिप की रैलियों से खौफ में मुस्लिम, कहा हम अयोध्या छोड़कर चले जाएंगे पूर्व टेनिस खिलाड़ी ने फेसबुक पर लिखा भावुक संदेश, टेनिस को कहा अलविदा मिशन 2019: अमित शाह ने तैयार किया सीट शेयरिंग का नया फार्मूला, लोजपा के लिए खुशखबरी